दीवार ढहने से चाय विक्रेता की मौत
मुआवजे की मांग पर शव रखकर तृणमूल का प्रदर्शन
दुर्गापुर. दुर्गापुर स्टील प्लांट (डीएसपी) की जमीन पर बने वर्षो पुरानी चाय दुकान को हटाने के दौरान दीवार ढहने से समीर चक्रवर्ती नामक व्यक्ति की मौत हो गयी. मंगलवार सुबह यह घटना स्टील टाउनशिप के अशोक इलाके में हुई. घटना के बाद तृणमूल कांग्रेस की ओर से शव कोलेकर दुर्गापुर थाना के समीप विरोध प्रदर्शन किया गया. साथ ही डीएसपी प्रबंधन के खिलाफ शिकायत दर्ज करायी गयी. तृणमूल नेता पंकज राय सरकार ने कहा कि डीएसपी प्रबंधन के फरमान के कारण एक गरीब व्यक्ति की मौत हुई है. प्रबंधन को मृतक के आश्रित को स्थायी नियुक्ति के साथ उचित मुआवजा देना होगा. तृणमूल की ओर से डीएसपी के खिलाफ आंदोलन किया जायेगा. उल्लेखनीय है कि डीएसपी नगर प्रशासन की ओर से समूचे स्टील टाउनशिप में अवैध अतिक्रमण के खिलाफ अभियान चलाया जा रहा है. इसके तहत डीएसपी की ओर से अवैध दुकान के सामने 20 फुट जगह छोड़ने का आदेश दिया गया है. जिससे शहर के हर इलाके में सड़क किनारे बने दुकान के सामने का हिस्सा दुकानदार खुद हटा रहे है. जो दुकान के सामने का हिस्सा नहीं खाली कर रहे है उन दुकानों को डीएसपी बुलडोजर लगा कर तोड़ रही है. स्थानीय लोगों ने बताया कि धोबीघाट निवासी समीर चक्रवर्ती का अशोक एवेन्यू इलाके में करीब 25 वर्ष पुरानी चाय की एक दुकान थी. दुकान पहले समीर की दादी चलाया करती थी. दो दिन पहले डीएसपी अधिकारियों ने दुकान के सामने की 20 फूट जगह को खाली करने का आदेश दिया था. आदेश सुनकर समीर के ऊपर मानों दुखों का पहाड़ टूट पड़ा था. मंगलवार सुबह समीर अपने पुत्र को साथ लेकर अपनी ही दुकान तोड़ने के लिए घर से निकला था. बारिश होने पर परिवार वालों के बार-बार मना करने के बाद भी समीर नही माना एवं दुकान तोड़ने चल पड़ा. लोगों ने बताया कि दुकान का सामने का हिस्सा तोड़ने के दौरान अचानक दीवार का बड़ा हिस्सा उसके शरीर पर गिर पड़ा. जिससे समीर बुरी तरह से घायल हो गया. स्थानीय लोगों के सहयोग से इलाज के लिए उसे अस्पताल ले जाया गया. लेकिन अस्पताल जाने के दौरान रास्ते में समीर की मौत हो गयी. तृणमूल जिला नेता पंकज राय सरकार ने कहा कि समीर गरीब था. वह अपने परिवार में इकलौता कमाने वाला था. समीर की मौत से पूरा परिवार बर्बाद होने की कगार पर आ गया है. फिलहाल तृणमूल कांग्रेस की ओर से जिलाध्यक्ष नरेंद्र नाथ चक्रवर्ती के हाथों मृतक के परिवार को एक लाख रुपये अनुदान दिया जायेगा. वहीं डीएसपी प्रबंधन को मृतक के परिवार के एक सदस्य को नौकरी और उचित मुआवजा देना होगा अन्यथा संगठन की ओर से लगातार आंदोलन शुरू किया जायेगा.
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