पश्चिम बंगाल में केंद्रीय योजनाओं के फंड का हो रहा दुरुपयोग : शुभेंदु अधिकारी

केंद्रीय वित्त मंत्री को पत्र देकर शुभेंदु ने की शिकायत

By Prabhat Khabar News Desk | July 11, 2024 8:48 PM

नयी दिल्ली में केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण से मिले बंगाल के विपक्ष के नेता केंद्रीय वित्त मंत्री को पत्र देकर शुभेंदु ने की शिकायत कोलकाता.पश्चिम बंगाल विधानसभा में विपक्ष के नेता शुभेंदु अधिकारी ने एक बार फिर राज्य सरकार पर केंद्रीय फंड का दुरुपयोग करने की साजिश रचने का आरोप लगाया है. इसे लेकर शुभेंदु अधिकारी ने केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को पत्र देकर शिकायत की है. उल्लेखनीय है कि श्री अधिकारी ने गुरुवार को नयी दिल्ली में निर्मला सीतारमण से मुलाकात कर पत्र सौंपा. केंद्रीय मंत्री से मिलने के बाद श्री अधिकारी ने पत्र की कॉपी सोशल मीडिया पर साझा की है. उन्होंने अपने पत्र में लिखा है कि राज्य में केंद्रीय योजनाओं के लिए जो फंड आवंटित किया जा रहा है, यहां की तृणमूल कांग्रेस सरकार उसका दुरुपयोग कर रही है. उन्होंने बताया कि पश्चिम बंगाल सरकार के वित्त विभाग ने हाल ही में जिलाधिकारियों को एक पत्र जारी किया है, जिसमें राज्य सरकार के सभी कार्यालयों से बैंक खाते का विवरण (समापन शेष के साथ) मांगा गया है, और पत्र में इसका कारण “राज्य के वित्तीय संसाधनों के बेहतर प्रबंधन ” के लिए बताया गया है. श्री अधिकारी ने कहा कि बंगाल में तृणमूल कांग्रेस सरकार “खैरात की राजनीति ” और “वोट बैंक की राजनीति ” के साथ आगे बढ़ रही है. राज्य में औद्योगीकरण के पटरी से उतरने के बाद पश्चिम बंगाल व्यापक वित्तीय संकट की ओर बढ़ रहा है. राज्य बेरोजगारी की महामारी के चपेट में है. अब डर यह है कि लोगों के लिए निर्धारित विकास और कल्याण निधि को या तो अनैतिक रूप से डायवर्ट किया जा सकता है, विलंबित या कुप्रबंधित किया जा सकता है या राज्य में आगामी वित्तीय संकट को टालने के लिए उसका दुरुपयोग किया जा सकता है. पश्चिम बंगाल सरकार के विभिन्न स्तरों के कार्यालयों (डीएम कार्यालय, एसडीओ कार्यालय, बीडीओ कार्यालय, स्थानीय निकाय कार्यालय आदि) के माध्यम से ही योजनाओं का फंड आवंटित किया जाता है. इनमें पंद्रहवां वित्त आयोग, एसबीएम या स्वच्छता अभियान, एनआरएलएम, पीएमजीएसवाई, आरआइडीएफ, बीसीडब्ल्यू केंद्रीय निधि, एसएसएम, एमडीएम (पीएम पोषण), आइसीडीएस, एमएसडीपी (अल्पसंख्यक विकास के लिए) आदि योजनाएं शामिल हैं.

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