कोलकाता. राज्य के शहरी विकास व नगरपालिका मामलों के मंत्री और कोलकाता के मेयर फिरहाद हकीम ने शुक्रवार को राज्य के शहरी क्षेत्रों में डेंगू व मलेरिया की परिस्थिति पर समीक्षा बैठक की. अलीपुर स्थित धनधान्य ऑडिटोरियम में हुई इस बैठक में मंत्री फिरहाद हकीम ने राज्य के सभी नगरपालिकाओं के अध्यक्षों को डेंगू और मलेरिया के महामारी के रूप फैलने से पहले सतर्क रहने के निर्देश दिये. बताया गया है कि इस कार्यक्रम में राज्य की 127 नगरपालिकाओं के चेयरमैन और अधिकारियों के साथ कार्यशाला का भी आयोजन किया गया था. मौके पर स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी भी उपस्थित रहे. फिरहाद हकीम ने कहा कि बैठक में मच्छर जनित बीमारियों से बचाव के तरीकों पर चर्चा की गयी. डेंगू-मलेरिया से बचाव के लिए क्या कदम उठाने चाहिए? इसे लेकर निकाय प्रमुखों को जानकारी दी गयी. गौरतलब है कि राज्य के विभिन्न हिस्सों में डेंगू और मलेरिया के मामले बढ़ रहे हैं, जिससे मुख्यमंत्री व स्वास्थ्य मंत्री ममता बनर्जी चिंतित हैं. बैठक के बाद फिरहाद हकीम ने कहा कि कुछ जगहों पर डेंगू-मलेरिया का प्रकोप बढ़ रहा है. हालांकि इस बार माॅनसून देर से दाखिल हुआ है. उन्होंने कहा कि मच्छर जनित बीमारियां बढ़ने लगी हैं, लेकिन नियंत्रित करने के लिए राज्य सरकार पूरी तरह से तत्पर है. फिरहाद हकीम ने कहा कि हर साल ऐसी बैठकें वर्चुअली आयोजित की जाती हैं. लेकिन इस साल सभी को बैठक के लिए बुलाया गया है. बैठक में चर्चा की गयी कि बंद कारखाने मच्छर जनित बीमारियाें के फैलने के मुख्य कारण हैं. इसके अलावा, एकल प्लास्टिक का उपयोग भी मच्छर जनित बीमारियों के प्रसार का बड़ा कारण है. बंद घरों की पहचान मच्छर जनित बीमारियों को बढ़ावा देनेवाले के रूप में की गयी है. मंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार के अधीनस्थ कार्यालयों व परिसराें में नगर निगम के अधिकारियों को प्रवेश करने की इजाजत नहीं मिलने से दिक्कतें हो रही हैं. उनकी शिकायत है कि कई बार डेंगू और मलेरिया से बचाव के लिए नगर निगम के कर्मचारी बंद घरों की दीवारों को चढ़कर मच्छरों के लार्वा नष्ट या सफाई करते हैं. लेकिन केंद्रीय कार्यालयों में ऐसा नहीं हो पाता है. इसके लिए हम नियमों में बदलाव करने की भी योजना बना रहे हैं.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है