27.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

सीयू में सीएएस लागू करने को लेकर शिक्षा विभाग ने लिया संज्ञान

राज्य के उच्च शिक्षा विभाग ने कलकत्ता विश्वविद्यालय को पत्र लिखकर यह जानने की कोशिश की है कि कलकत्ता विश्वविद्यालय ने राज्य सरकार के अधिनियम का उल्लंघन करते हुए क्या शिक्षकों के लिए करियर उन्नति योजना (सीएएस) लागू की है.

संवाददाता, कोलकाता

राज्य के उच्च शिक्षा विभाग ने कलकत्ता विश्वविद्यालय को पत्र लिखकर यह जानने की कोशिश की है कि कलकत्ता विश्वविद्यालय ने राज्य सरकार के अधिनियम का उल्लंघन करते हुए क्या शिक्षकों के लिए करियर उन्नति योजना (सीएएस) लागू की है. यह कदम जादवपुर विश्वविद्यालय को इसी तरह का संदेश भेजे जाने के कुछ दिनों बाद उठाया गया है, जिसके बाद जेयू को पदोन्नति देने के लिए शुरू की गयी प्रक्रिया को निलंबित करने के लिए मजबूर होना पड़ा था.

उच्च शिक्षा विभाग के एक अधिकारी ने जानकारी दी कि वे सीयू से यह जानना चाहते हैं कि क्या पश्चिम बंगाल विश्वविद्यालय (व्यय नियंत्रण) अधिनियम, 1976 की धारा 3(1) का उल्लंघन करके कोई पदोन्नति दी गयी है. अधिनियम कहता है कि कोई भी राज्य सहायता प्राप्त विश्वविद्यालय सरकार की पूर्व अनुमति के बिना किसी भी पद से जुड़े वेतन या भत्ते में वृद्धि नहीं कर सकता है.

सीयू ने इस महीने की शुरुआत में शिक्षकों के लिए पदोन्नति योजना लागू की थी. अधिकारी ने कहा, “ चूंकि यह हमारे संज्ञान में लाया गया है कि कलकत्ता विश्वविद्यालय ने अपने शिक्षकों को पदोन्नति की पेशकश की है, इसलिए हमने विश्वविद्यालय को एक संचार भेजने का फैसला किया.” ध्यान रहे कि जेयू के शिक्षकों ने विभाग को पत्र लिखकर कहा कि इसने विश्वविद्यालय को पदोन्नति लागू करने से रोक दिया, जबकि कुछ अन्य विश्वविद्यालय पदोन्नति दे रहे थे. सभी राज्य सहायता प्राप्त विश्वविद्यालयों को गत एक अप्रैल को जारी किये गये एक परामर्श में विश्वविद्यालयों से अधिनियम के उल्लंघन में पदोन्नति योजना को आगे नहीं बढ़ाने के लिए कहा था. फिर भी कलकत्ता विश्वविद्यालय ने योजना लागू की है, जो उचित नहीं है. एक अप्रैल के परामर्श में विभाग ने विश्वविद्यालयों से सीएएस लाभ का विस्तार करके राज्य सरकार के अधिनियम के प्रावधानों का उल्लंघन करने से बचने के लिए कहा था. इस परामर्श के बाद सीयू ने इस पर कानूनी राय मांगी कि क्या वह पदोन्नति योजना जारी रख सकता है. इसमें अब तक 20 शिक्षकों को प्रोन्नति दी गयी है. हालांकि विश्वविद्यालयों से कहा गया है कि वे पदोन्नति न दें क्योंकि आदर्श आचार संहिता लागू है.

डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें