डेंगू व अज्ञात बुखार से और 8 मरे
कोलकाता: राज्य में डेंगू से मौत का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है. राज्य भर में डेंगू और अज्ञात बुखार से अब तक और आठ लोगों के मारे जाने की खबर है. उत्तर 24 परगना के केष्टोपुर के एक बच्चे की भी डेंगू से मौत हो गयी. उसका नाम सौम्यजीत पाल (10) बताया […]
By Prabhat Khabar Digital Desk |
November 6, 2017 10:40 AM
कोलकाता: राज्य में डेंगू से मौत का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है. राज्य भर में डेंगू और अज्ञात बुखार से अब तक और आठ लोगों के मारे जाने की खबर है. उत्तर 24 परगना के केष्टोपुर के एक बच्चे की भी डेंगू से मौत हो गयी. उसका नाम सौम्यजीत पाल (10) बताया गया है. उसकी मौत दो दिनों पहले ही हुई थी, लेकिन खुलासा रविवार को हुआ. जानकारी के अनुसार सोमवार को बुखार होने पर सौम्यजीत को कोलकाता के एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया था. लेकिन हालत नहीं सुधरने पर उसे बुधवार को बीसी राय शिशु अस्पताल में भर्ती कराया गया,हां उसका इलाज चल रहा था. सौम्यजीत की प्लेटलेट्स में गिरावट जारी रही.
इस कारण शुक्रवार रात उसकी मौत हो गयी. सौम्यजीत के मृत्यु प्रमाण पत्र में मौत की वजह डेंगू बतायी गयी है. वहीं, 24 परगना के देगंगा में रविवार को भी एक महिला की अज्ञात बुखार से पीड़ित होने के कारण मौत हो गयी. मृतका का नाम रानुरा बीबी (40) बताया गया है. वह देगंगा के दो नंबर पंचायत के तलिया गांव की रहनेवाली थी. मौत की खबर सुनने के बाद पंचायत की नींद खुली और पहली बार कर्मचारी इलाके में मच्छर मारने के लिए धुआं करने पहुंचे. स्थानीय सूत्रों के अनुसार रानुरा बीबी को पिछले चार दिनों से बुखार था. उसे पहले विश्वनाथपुर स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया था. फिर हालत गंभीर होने के कारण उसे बारासात जिला अस्पताल ले जाया गया.
लेकिन स्थिति में सुधार न होती देख उसे कोलकाता स्थित आरजी कर अस्पताल रेफर किया गया. रानुरा बीबी को आरजी कर ले जाया जा रहा था, तभी उसकी रास्ते में ही मौत हो गयी. वहीं, दक्षिण दमदम में डेंगू से एक वृद्धा की मौत हो गयी. मृतका का नाम कंचनबाला मिश्रा (60) है. वह कुछ दिनों से दक्षिण दमदम नगरपालिका अंतर्गत 31 नंबर वार्ड स्थित पातिपुुकुर-तेतुलतल्ला स्थित अपने पिता के घर आयी हुई थी. वह 31 अक्तूबर से बुखार से पीड़ित थी. एक नवंबर को उन्हें लेकटाउन के एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां उनकी मौत हो गयी. कंचनबाला के डेथ सर्टिफिकेट में मौत का कारण डेंगू बताया गया है. वहीं, दक्षिण दमदम नगरपालिका के 31 नंबर वार्ड के पार्षद अरूप हाजरा का कहना है कि इलाके में सफाई अभियान चलाया गया है. वृद्धा जब बुखार से पीड़ित थी, तब वह यहां आयी थी.
वहीं, उत्तर 24 परगना जिले के बारासात स्थित कदम्बगाछी में डेंगू से पांच साल की सुहाना परवीन की मौत हो गयी. तेज बुखार होने पर पहले तो सुहाना को बारासात अस्पताल में भर्ती कराया गया, लेकिन तबीयत अधिक बिगड़ने पर उसे कोलकाता लाया गया, जहां उसकी मौत हो गयी. उधर, हुगली जिले के बांसबेड़िया नगरपालिका के 13 नंबर वार्ड में रहनेवाले एक श्रमिक तापस पाठक (40) की अज्ञात बुखार से मौत हो गयी. चिकित्सकों ने उसकी मौत का कारण अज्ञात बुखार की वजह से शरीर के विभिन्न अंगों के निष्क्रिय हो जाना बताया है. वहीं, पीड़ित के परिजन इसे डेंगू से हुई मौत बता रहे हैं. परिवार का आरोप है कि वार्ड में गंदगी का अंबार लगा है, जिसकी वजह से तेजी से डेंगू तेजी से पांव पसार रहा है. तापस पाठक बांसबेड़िया के गंगेज जूट मिल में बतौर श्रमिक काम करते थे. एक सप्ताह पहले उन्हें तेज बुखार आया था. उन्हें स्थानीय टाउनशिप हॉस्पिटल में दाखिल करवाया गया, वहां से उन्हें बंडेल इएसआइ अस्पताल में रेफर किया गया. यहां मरीज की हालत बिगड़ती देख उन्हें कोलकाता मेडिकल कॉलेज अस्पताल में रेफर किया गया था. मेडिकल कॉलेज अस्पताल में दाखिले को लेकर घंटों तक इंतजार करना पड़ा. इस दौरान उनकी मौत हो गयी.
वहीं, सॉल्टलेक स्थित एक निजी अस्पताल में गत 27 अक्तूबर एक वृद्धा की मौत हुई थी. मृतका का नाम अनिता दत्ता है. रविवार को यह खुलासा हुआ है. हालांकि अस्पताल प्रबंधन की ओर से किसी प्रकार की पुष्टि नहीं की गयी है. बताया जाता है कि वह डेंगू की चपेट में थी.
वहीं, कांथी नगरपालिका के 17 नंबर वार्ड के किशोरनगर इलाके के रहनेवाले व्यवसायी रामकृष्ण प्रधान (62) की भी डेंगू से मौत हो गयी. रविवार को कोलकाता के एसएसकेएम अस्पताल में उनकी मौत हुई.
उनके परिजनों का दावा है कि रामकृष्ण प्रधान की मौत डेंगू से हुई है. एक हफ्ते पहले वे बुखार की चपेट में आये थे. घरवालों ने पहले उन्हें एक स्थानीय चिकित्सक को दिखाया. बुधवार को उन्हें हाथ-पैर में दर्द व उल्टियां होने लगीं. उन्हें कांथी महकमा अस्पताल में भर्ती कराया गया. रक्त जांच में एचएन1 पॉजिटिव पाया गया. बाद में उनकी स्थिति बिगड़ने पर उन्हें कोलकाता के एसएसकेएम अस्पताल में स्थानांतरित किया गया. रविवार सुबह उनकी मौत हो गयी. इधर, कांथी में डेंगू से मौत की घटना के बाद आतंक फैल रहा है.
मृतक के बेटे अनिमेष प्रधान और सुकमल प्रधान ने कहा कि रक्त जांच में डेंगू पाया गया था. कांथी महकमा अस्पताल के रिकॉर्ड से भी पता चलता है कि डेंगू पीड़ित रामकृष्ण प्रधान को कोलकाता रेफर किया गया था. इस संबंध में कांथी नगरपालिका के अधिकारी या संबंधित वार्ड पार्षद ने कुछ भी कहने से इनकार किया.