कोलकाता : सीएम की छवि खराब करने की कोशिश : पार्थ चटर्जी
कोलकाता : तृणमूल कांग्रेस के महासचिव पार्थ चटर्जी ने कहा कि कुछ लोग साजिश करके मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की छवि खराब करना चाहते हैं. इससे उनकी सेहत पर कोई असर नहीं पड़ने वाला है. क्योंकि बंगाल और देश की जनता उनको अच्छी तरह से जानती और समझती है. श्री चटर्जी अपने घर नाकतल्ला में आयोजित […]
कोलकाता : तृणमूल कांग्रेस के महासचिव पार्थ चटर्जी ने कहा कि कुछ लोग साजिश करके मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की छवि खराब करना चाहते हैं. इससे उनकी सेहत पर कोई असर नहीं पड़ने वाला है.
क्योंकि बंगाल और देश की जनता उनको अच्छी तरह से जानती और समझती है. श्री चटर्जी अपने घर नाकतल्ला में आयोजित संवाददाता सम्मेलन करके भाजपा प्रतिनिधि दल की ओर से लगाये गये आरोपों का जबाब दे रहे थे. उन्होंने कहा कि भाजपा के लोग आरोप लगा रहे हैं कि आसनसोल की घटना के दौरान पुलिस मूकदर्शक रही. जबकि हकीकत यह है कि पुलिस ने काफी तत्परता से हालात पर काबू पाया.
यही वजह है कि दंगाइयों के हमले में एक पुलिस अधिकारी गंभीर रूप से घायल हो गये. पुलिस के कई जवान जख्मी हुए हैं. पुलिस ने काफी तत्परता से काम किया है. लिहाजा पुलिस पर आरोप लगाना गलत है. उन्होंने कहा कि कुछ लोग बंगाल की तुलना बिहार से करके यहां की छवि खराब करना चाह रहे हैं. यह पूरी तरह गलत है.
क्योंकि पिछले सात सालों से बंगाल के विकास और यहां की संस्कृति के बारे में ममता बनर्जी ने जो काम किया है, वह काफी काबिले तारीफ है. इसकी प्रशंसा पूरे देश में हो रही है. पार्थ ने भाजपा प्रतिनिधि दल के आसनसोल दौरे पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि वे लोग (प्रतिनिधिदल के सदस्य) सरकारी पार्टी के नुमाइंदे हैं.
जबरिया कानून का उल्लंघन करके वहां गये. प्रशासन को जो कदम उठाना होगा वह उठायेगा. रहा सवाल उनकी (प्रतिनिधिदल) रिपोर्ट का तो हमें उसकी परवाह नहीं है. वह अपनी रपट किसको देते हैं अपने पार्टी अध्यक्ष को दें या फिर किसी और को उससे तृणमूल की सेहत पर कोई असर नहीं पड़नेवाला है.
क्योंकि भाजपा की तरह ममता बनर्जी झूठ नहीं बोलती हैं. वह कभी लोगों के खाते में 15 लाख पहुंचाने का वादा नहीं करती हैं. इसके अलावा उन्होंने कभी महिलाओं, सरकारी कर्मचारियों अथवा छात्रों का कोई नुकसान नहीं किया है. लिहाजा उनके ऊपर कोई इल्जाम लगाता है तो कोई फर्क नहीं पड़नेवाला क्योंकि पूरे देश के साथ बंगाल की जनता हकीकत को जानती है.
रहा सवाल पंचायत चुनाव का तो भाजपा या विरोधी दल क्यों बार-बार समय बदलने की मांग कर रहे हैं. अगर वे लोग तैयार हैं, जनता से जुड़े हैं तो पंचायत चुनाव में उनको जमीनी हकीकत का पता चल जायेगा