कोलकाता/पाकुड़ : पश्चिम बंगाल में हो रहे त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में नामांकन परचा दाखिल करनेवाले 70 भाजपा समर्थक उम्मीदवार बंगाल से भाग कर झारखंड के पाकुड़ स्थित भाजपा कार्यालय में शरण लिये हुए हैं. बंगाल से भाग कर पाकुड़ पहुंचे उम्मीदवारों के मुताबिक उनलोगों ने त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में वार्ड सदस्य, पंचायत समिति सदस्य व जिला परिषद सदस्य पद पर नामांकन पर्चा दाखिल किया है. उन लोगों ने बताया कि 28 अप्रैल को नाम वापसी की अंतिम तिथि है. इस कारण तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ता व स्थानीय पुलिस भाजपा समर्थक उम्मीदवारों के साथ मारपीट, जान मारने की धमकी व जबरन नाम वापसी का दबाव बना रहे हैं.
चुनाव कर्मियों की सुरक्षा को लेकर रिपोर्ट तलब
पंचायत चुनाव में चुनाव कर्मियों की सुरक्षा को लेकर कलकत्ता हाइकोर्ट ने रिपोर्ट तलब किया है. आगामी चार मई को राज्य पुलिस व राज्य चुनाव आयोग को यह रिपोर्ट देनी होगी. शुक्रवार को यह निर्देश कलकत्ता हाइकोर्ट के कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश ज्योतिर्मय भट्टाचार्य व न्यायाधीश अरिजीत बनर्जी ने दिया. खंडपीठ ने कहा कि अगर इस मामले में जरूरत पड़ी, तो रोजाना ही सुनवाई होगी. गुरुवार को राज्य चुनाव आयोग ने पंचायत चुनाव के तारीख की घोषणा की थी. राज्य सरकारी कर्मचारी परिषद के संयोजक देवाशीष शील ने पर्याप्त संख्या में सशस्त्र बल के न रहने पर चुनाव कर्मियों को पूरी सुरक्षा नहीं मिल पाने की आशंका जताते हुए हाइकोर्ट में याचिका दायर की थी. मामले की सुनवाई में देवाशीष शील ने कहा कि राज्य के त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में कुल 58,467 बूथ हैं.
शरण लेनेवालों में कौन-कौन
पश्चिम बंगाल त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव लड़ रहे भाजपा समर्थित उम्मीदवार जिन्होंने पाकुड़ भाजपा कार्यालय में शरण लिया है, उसमें बुल्टी मांझी, नमिता मंडल, प्रभाकर सरकार, रवि मंडल, रोहित मंडल, प्रमीला दास, मिलन कुमार सरकार, पुष्पा रानी दास, सोमोवेश दास, वाणी मांझी, शशांक शेखर मंडल, कृष्णा पाल, सहदेव साहा सहित अन्य शामिल हैं.
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