लीवर का हिस्सा दान कर बेटी ने बचायी मां की जान
कोलकाता : कोलकाता में अंगदान प्रत्यारोपण का एक और सफल ऑपरेशन देखने को मिला. 23 साल की बेटी ने अपनी 43 वर्षीया बीमार मां को अपने लीवर का कुछ हिस्सा देकर उसकी जान बचायी. मंगलवार की शाम एसएसकेएम अस्पताल में चिकित्सकों ने सफल लीवर प्रत्यारोपण किया. इसके 24 घटे बाद दोनों की हालत में सुधार […]
कोलकाता : कोलकाता में अंगदान प्रत्यारोपण का एक और सफल ऑपरेशन देखने को मिला. 23 साल की बेटी ने अपनी 43 वर्षीया बीमार मां को अपने लीवर का कुछ हिस्सा देकर उसकी जान बचायी. मंगलवार की शाम एसएसकेएम अस्पताल में चिकित्सकों ने सफल लीवर प्रत्यारोपण किया. इसके 24 घटे बाद दोनों की हालत में सुधार देखने को मिला है. बुधवार को अस्पताल के चिकित्सकों ने बताया कि मा-बेटी दोनों की हालत में सुधार है. उन्हें वेंटिलेशन पर रखा गया था.
एसएसकेएम अस्पताल के स्कूल ऑफ लीवर एंड डाइजेस्टिव डिजीजेज के अध्यक्ष डॉक्टर अभिजीत चौधरी ने बताया कि जिस महिला के शरीर में लीवर प्रत्यारोपित किया गया है. उनका नाम देवी घोष है. वह उत्तर 24 परगना जिले के बशीरहाट की रहने वाली है. करीब एक साल से देवी की तबीयत खराब थी. उनका लीवर खराब हो गया था और उन्हें तत्काल लीवर प्रत्यारोपित करने की जरूरत थी.
एक महीने पहले एक लीवर मिला भी था, लेकिन देवी की 23 साल की बेटी ने खुद आगे आकर अपना लीवर का हिस्सा मां को दान करने की इच्छा जतायी. इसके बाद चिकित्सकों ने प्रत्यारोपण की तैयारिया शुरू कर दी थी. मंगलवार शाम प्रक्रिया शुरू हुई. रात तक सफलतापूर्वक बेटी के शरीर से लीवर का एक हिस्सा निकालकर मा के शरीर में प्रत्यारोपित किया गया है. बुधवार को दोनों में सुधार देखा गया. वे स्वस्थ हो रही हैं. चिकित्सकों की टीम उनकी स्थिति पर करीब से निगरानी रख रही हैं.
गौरतलब हो कि अंगदान के प्रति कोलकाता और राज्य के अन्य हिस्सों में लोगों का रुझान काफी तेजी से बढ़ा है. राज्य सरकार ने भी बड़े पैमाने पर इसे बढ़ावा देने के लिए शिक्षा वर्ष 2019 में आठवीं कक्षा की पुस्तक में अंगदान को शामिल करने का निर्णय लिया है. पिछले दो महीनों में 30 से अधिक ब्रेन डेड लोगों द्वारा अंगदान करने के बाद इसे कम से कम 50 से अधिक लोगों के शरीर में सफलतापूर्वक प्रत्यारोपित किया गया है जो अपने आप में एक रिकॉर्ड है.