प्रभावित लोगों की सूची बनाने में छूट रहे पसीने
बहूबाजार हादसा. क्षतिपूर्ति देने के लिए सूची बना रहे हैं केएमआरसीएल के अधिकारी कोलकाता : बहूबाजार के दुर्गापितुरी लेन, सेकड़ापाड़ा लेन व गौर दे लेन स्थित इमारतों को नुकसान पहुंचा है. इलाके में रहनेवाले अब भी दहशत में हैं. वहीं अब पीड़ितों को क्षतिपूर्ति देने के लिए केएमआरसीएल के अधिकारी सूची तैयार कर रहे हैं, […]
बहूबाजार हादसा. क्षतिपूर्ति देने के लिए सूची बना रहे हैं केएमआरसीएल के अधिकारी
कोलकाता : बहूबाजार के दुर्गापितुरी लेन, सेकड़ापाड़ा लेन व गौर दे लेन स्थित इमारतों को नुकसान पहुंचा है. इलाके में रहनेवाले अब भी दहशत में हैं. वहीं अब पीड़ितों को क्षतिपूर्ति देने के लिए केएमआरसीएल के अधिकारी सूची तैयार कर रहे हैं, लेकिन इस सूची को तैयार करने में काफी परेशानी हो रही है. क्षतिपूर्ति की राशि को प्राप्त करने के लिए कई फर्जी लोग भी क्षतिपूर्ति की मांग करने लगे हैं. इन फर्जी लोगों में ऐसे लोग शामिल हैं, जो कभी उक्त इलाकों में रहते थे. ऐसे लोगों के पास वोटर कार्ड, राशन कार्ड व अन्य पहचान बहूबाजार के पता पर बना है, जिसका फायदा उठा कर कुछ फर्जी लोग क्षतिपूर्ति की राशि प्राप्त करने की फिराक में हैं.
वहीं कुछ ऐसे भी मामले सासने आ रहे हैं, जहां एक से अधिक मकान मालिक हैं और सभी क्षतिपूर्ति की मांग कर रहे हैं. ऐसे में बीच का रास्ता निकालने के लिए केएमआरसीएल ने कोलकाता नगर निगम से मदद मांगी है.
स्थानीय पार्षद सत्येंद्र नाथ दे के नेतृत्व में एक सूची तैयार की जा रही है. इस सूची में अब तक 123 पीड़ितों के नामों को शामिल किया गया है. स्थानीय पार्षद के अनुसार पीड़ितों की संख्या बढ़ कर 150 तक पहुंच सकती है.
उन्होंने कहा कि वह खुद लोकल सोर्स से पीड़ितों की पहचान करवा कर इस सूची को तैयार कर रहे हैं, ताकि कोई फर्जी व्यक्ति लाभान्वित न हो जाये. उन्होंने कहा कि मेट्रो की ओर से अब तक 83 लोगों को पांच-पांच लाख रुपये का चेक दिया गया है.
16 से अधिक इमारतों को तोड़ेगा निगम
अब तक पांच इमारतों को तोड़ने की सूचना केएमआरसीएल की ओर से दी गयी है, लेकिन स्थानीय पार्षद के अनुसार 16 से अधिक इमारतों को तोड़े जाने की संभावना है.
बहूबाजार में और 20 क्षतिग्रस्त मकान चिह्नित
कोलकाता मेट्रो रेल कॉरपोरेशन लिमिटेड (केएमआरसीएल) ने बहूबाजार में सुरंग खोदने के दौरान क्षतिग्रस्त हुए मकानों को लेकर सेकड़ापाड़ा लेन, दुर्गापितुरी लेन और गौर दे लेन इलाके का सर्वे करते हुए 20 क्षतिग्रस्त मकानों को चिह्नित किया. इन मकानों को तोड़ने का फैसला लिया जायेगा. केएमआरसीएल के एक अधिकारी ने बताया कि पहले चरण में चिह्नित क्षतिग्रस्त मकानों को तोड़ने का काम शुरू कर दिया गया है. हालांकि इस घटना में कई मकानों को काफी नुकसान पहुंचा है.
केएमआरसीएल की ओर से गठित टीम ने इलाके के क्षतिग्रस्त मकानों का सर्वे कर एक प्राथमिक सूची बनायी है, जिसमें 20 मकानों की हालत गंभीर बतायी गयी है.
उन्होंने बताया कि तालिका में उन मकानों के नाम भी शामिल हैं, जिनमें दरार आयी हैं. इन मकानों को मरम्मत कर ठीक किया जा सकता है. उन्होंने कहा कि पिछले कुछ दिनों से मकानों को नुकसान नहीं पहुंचा है. उम्मीद जतायी जा रही है कि मिट्टी खिसकने का सिलसिला थम जायेगा.