सरकारी नौकरी का झांसा देकर किया अपहरण, सात गिरफ्तार

कोलकाता : दक्षिण 24 परगना जिले के सोनारपुर थाने की पुलिस ने सरकारी नौकरी दिलाने का झांसा देकर एक युवक और उसके दोस्त का अपहरण करनेवाले एक गिरोह के सात लोगों गिरफ्तार किया है. उनके पास से दो वाहन भी जब्त किये गये हैं. शनिवार को गिरफ्तार सभी को कोर्ट में पेश किया गया. सभी […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 29, 2019 6:00 AM

कोलकाता : दक्षिण 24 परगना जिले के सोनारपुर थाने की पुलिस ने सरकारी नौकरी दिलाने का झांसा देकर एक युवक और उसके दोस्त का अपहरण करनेवाले एक गिरोह के सात लोगों गिरफ्तार किया है. उनके पास से दो वाहन भी जब्त किये गये हैं. शनिवार को गिरफ्तार सभी को कोर्ट में पेश किया गया. सभी को पुलिस हिरासत में लिया गया है.

पुलिस के मुताबिक गिरफ्तार आरोपियों के नाम प्रीतम सेनगुप्ता, कृष्णा पाल उर्फ अभिराज, अभिजीत वैद्य, सोमेन सेनगुप्ता, अजय चौबे, रामकुमार तिवारी और सन्नी चौधरी हैं. गिरफ्तार लोगों के पास से प्रेस कार्ड भी जब्त हुए हैं. इनमें सोमेन मूल आरोपी है, जिसके कार्ड पर मीडिया (एनए न्यूज अलर्ट) का सीइओ पद लिखा हुआ है.
पुलिस के मुताबिक शिकायतकर्ता का नाम सीताराम पात्र है. वह उत्तर 24 परगना के निमता थाना क्षेत्र के दुर्गापल्ली का निवासी है. गत 11 दिसंबर को उसने शिकायत दर्ज करायी कि फेसबुक पर अभिजीत नामक एक व्यक्ति से उसका परिचय हुआ था. दोनों में फेसबुक पर दोस्ती होने के बाद अभिजीत ने उसे पश्चिम बंगाल के स्वास्थ्य विभाग में आठ लाख रुपये देने पर नौकरी दिलाने का झांसा दिया.
अभिजीत के कहे मुताबिक शिकायतकर्ता नागेरबाजार में एक ठिकाने पर मिलने पहुंचा. सीताराम अपने एक दोस्त सोनू को लेकर कार से गया था. उसका आरोप है कि वहां पहुंचने के बाद उसने देखा पहले से ही 10-15 लोग हैं. इन दोनों के पहुंचते ही सबने मिलकर दोनों की पिटाई की.
उनके मोबाइल, 50 हजार नकदी रुपये और सोने की चेन छिनताई कर लिये. इनका कार भी ले लिया गया. फिर अपहृत को डानकुनी और फिर वहां से सोनारपुर ले गये. वहीं पर उन्हें रखे. अपहृत से फिरौती के लिए 10 लाख रुपये की मांग की गयी. अंत में बाध्य होकर अपहृत ने फिरौती की रकम देने का आश्वासन दिया.
फिर अपहर्ताओं ने दोनों का वीडियो बनाया, जिसमें दोनों को जबरन खुद ठगी करने की बात कबूल करवाया गया था और स्टांप पेपर पर हस्ताक्षर करवाकर दोनों को छोड़ दिया. अपहृत अस्पताल में प्राथमिक उपचार कराने के बाद सीधा दमदम थाना पहुंचा, लेकिन पुलिस ने उसे कमारडांगा आउट पोस्ट में भेजा.
फिर दोनों थाने के क्षेत्र को लेकर परेशान होकर अंत में वह सोनारपुर थाने में पहुंचा और शिकायत दर्ज करायी. पुलिस का कहना है कि मामले की जांच करते हुए सात आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है. पूछताछ में पता चला है कि ये लोग अब तक 11 लोगों से ठगी कर चुके हैं.

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