अधिकार छीननेवालों को मेरी लाश से गुजरना होगा
कोलकाता : मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने नागरिकता संशोधन कानून (सीएए), राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) व राष्ट्रीय जनसंख्या पंजी (एनपीआर) के खिलाफ अपने आंदोलन को तेज करते हुए कहा कि बंगाल के लोगों के गणतांत्रिक अधिकारी का हम कतई हनन नहीं होने देंगे. ऐसा करने से पहले आपके अधिकार छीननेवालों को मेरी लाश से होकर गुजरना […]
कोलकाता : मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने नागरिकता संशोधन कानून (सीएए), राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) व राष्ट्रीय जनसंख्या पंजी (एनपीआर) के खिलाफ अपने आंदोलन को तेज करते हुए कहा कि बंगाल के लोगों के गणतांत्रिक अधिकारी का हम कतई हनन नहीं होने देंगे. ऐसा करने से पहले आपके अधिकार छीननेवालों को मेरी लाश से होकर गुजरना होगा. बंगाल में किसी भी परिस्थिति में हम सीएए, एनआरसी व एनपीआर को लागू होने नहीं देंगे.
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी मंगलवार को दक्षिण 24 परगना जिले के पाथेरप्रतिमा में एक सरकारी कार्यक्रम में शामिल होने के लिए यहां पहुंची थीं, जहां उन्होंने बुलबुल चक्रवात से प्रभावित लोगों के बीच राहत सामग्री व आर्थिक अनुदान प्रदान किया. साथ ही उन्होंने पाथेरप्रतिमा के लोगों के बीच विभिन्न योजनाओं के तहत सामग्रियों वितरित की और इलाके के लिए 700 करोड़ की योजनाओं का शिलान्यास व उद्घाटन किया. मुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार ने चक्रवात से प्रभावित लोगों के लिए कोई सहायता राशि प्रदान नहीं की है.
राज्य सरकार अपने फंड से चक्रवात प्रभावितों को आर्थिक अनुदान प्रदान कर रही है. अबतक 45 हजार किसानों को सहायता राशि प्रदान की जा चुकी है. मुख्यमंत्री ने कहा कि जिन लोगों के घर टूटे हैं, उन्हें ‘बांग्ला आवास’ योजना के तहत घर बना कर दिया जायेगा. सभा के दौरान मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने एक बार फिर केंद्र सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कि बंगाल में लोगों को आपस में बांटने की साजिश की जा रही है. हम ऐसा होने नहीं देंगे. उन्होंने लोगों से किसी के बहकावे में नही आने का सुझाव दिया.
मुख्यमंत्री ने आश्वासन देते हुए कहा कि आप अपने अधिकार की चिंता छोड़कर दें. हम आपके पहरेदार हैं और हम आपके अधिकार की रक्षा करेंगे. दक्षिण 24 परगना के पाथेरप्रतिमा में मुख्यमंत्री ने जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि सीएए, एनआरसी और एनपीआर के खिलाफ प्रदर्शन तब तक जारी रहेगा, जब तक उनकी जरूरत है और हम अपने राज्य में इसे लागू नहीं होने देंगे.
इसके साथ ही उन्होंने कहा, यदि आपके पास कोई आये और आपसे आपकी जानकारी मांगे, तो उसे मत देना. उन्होंने कहा कि जब तक सीएए को वापस नहीं ले लिया जाता, तब तक मैं अपना विरोध खत्म नहीं करूंगी. सिर्फ इतना पक्का कीजिये कि आपका नाम मतदाता सूची में हों. बाकी का काम मैं देख लूंगी. किसी को भी यह देश नहीं छोड़ना पड़ेगा.