हुगली पर छह लेन का पुल बनाने का योजना
कोलकाता. राज्य सरकार ने हुगली ब्रिज पर छह लेन की ब्रिज बनाने की योजना बनायी है. फिलहाल हुगली नदी पर तीन ब्रिज हैं, हावड़ा ब्रिज, नवेदिता सेतु तथा विद्यासागर सेतु, लेकिन ममता बनर्जी की सरकार ने एडवांस तकनीक की मदद से केबल पर आधारित ब्रिज बनाने की योजना बनायी है. यह नदिया हुगली जिले (कल्याणी […]
कोलकाता. राज्य सरकार ने हुगली ब्रिज पर छह लेन की ब्रिज बनाने की योजना बनायी है. फिलहाल हुगली नदी पर तीन ब्रिज हैं, हावड़ा ब्रिज, नवेदिता सेतु तथा विद्यासागर सेतु, लेकिन ममता बनर्जी की सरकार ने एडवांस तकनीक की मदद से केबल पर आधारित ब्रिज बनाने की योजना बनायी है. यह नदिया हुगली जिले (कल्याणी से डानकुनी ) को आपस में जोड़ेगी. यह राष्ट्रीय राजमार्ग 3, बीटी रोड तथा दमदम रोड की दूरी कम करेगी. पश्चिम बंगाल राजमार्ग विकास निगम (डब्ल्यूबीएचडीसी) के प्रबंध निदेशक मनोज अग्रवाल ने बताया कि ब्रिज डिजाइन की विश्व विख्यात कंसस्टिंग एजेंसी सीओडब्ल्यूएल की मदद से यह ब्रिज बनाया जायेगा. राइट्स विस्तृत रिपोर्ट तैयार करेगी. यह ब्रिज वर्तमान के विद्यासागर सेतु या सेकेंड हुगली ब्रिज से 20 मीटर की दूरी पर बनायी जायेगी. योजना है कि नदिया व हुगली को जोड़ने के लिए नदी पर एक किलोमीटर की ब्रिज बनायी जायेगी. इसके साथ ही कल्याणी में दो किलोमीटर का एलेवेटेड कोरिडोर भी होगा. इस ब्रिज की मदद से बिना एनएच -34 जाये बिना एनएच-2 तथा एनएच-6 जाया जा सकेगा. पूरी दूरी लगभग 25 किलोमीटर लंबी होगी. सीओडब्ल्यूएल ग्रेट बेल्ट इस्ट ब्रिज, डेनमार्क तथा इटली की मसिना ब्रिज का निर्माण कर चुकी है. यह फर्म विश्व की कुछ प्रसिद्ध केबल पर आधारित ब्रिज डेनमार्क, स्वीडन, चीन तथा हांगकांग में बना चुकी है. वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार इस वर्ष के अंत में कार्य शुरू होने की उम्मीद है. अधिकारियों का कहना है कि एनएच 34 पर जाम के कारण एयरपोर्ट से मध्यमग्राम व बारासात जाने वाली गाडि़यों को परेशानी का सामना करना पड़ता है. यह ब्रिज बनने से परेशानी कम होगी.