‘टीम इंडिया’ के निर्माण में मदद करेगा बंगाल: मोदी
बर्नपुर (आसनसोल): प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को कहा कि पश्चिम बंगाल ‘टीम इंडिया’ की भावना का निर्माण करने में मददगार होगा, जो देश को आगे बढ़ाने के लिए जरूरी है. पश्चिम बंगाल की अपनी दो दिन की यात्र के अंतिम दिन आधुनिक इस्को स्टील प्लांट के उदघाटन के मौके पर यहां मुख्यमंत्री ममता बनर्जी […]
बर्नपुर (आसनसोल): प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को कहा कि पश्चिम बंगाल ‘टीम इंडिया’ की भावना का निर्माण करने में मददगार होगा, जो देश को आगे बढ़ाने के लिए जरूरी है. पश्चिम बंगाल की अपनी दो दिन की यात्र के अंतिम दिन आधुनिक इस्को स्टील प्लांट के उदघाटन के मौके पर यहां मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की मौजूदगी में मोदी ने कहा : मैं कह रहा हूं कि टीम इंडिया के बिना देश तरक्की नहीं कर सकता. भारत को आगे ले जाने के लिए बंगाल की यह धरती देश की मदद करेगी. उन्होंने कहा कि इस्पात उत्पादन में भारत को आगे ले जाने के लिए पश्चिम बंगाल सरकार ने इस परियोजना को सफल बनाया है. यह टीम इंडिया के काम करने की भावना का उदाहरण है.
प्रधानमंत्री ने कहा कि यदि राज्य सरकार ने इस्पात संयंत्र के आधुनिकीकरण के प्रयासों में सहयोग नहीं दिया होता तो परियोजना संभव नहीं होती. बांग्लादेश के साथ भूमि सीमा समझौते का जिक्र करते हुए मोदी ने कहा कि उन्हें इस बात का गर्व है कि पश्चिम बंगाल, असम और त्रिपुरा जैसे राज्यों ने इस लंबित मुद्दे के समाधान में दिल्ली के साथ मिलकर काम किया जो मुजीबुर रहमान के जमाने से पिछले 41 सालों से लंबित पड़ा था. प्रधानमंत्री ने कहा: पश्चिम बंगाल से ममता की सरकार तथा असम और त्रिपुरा की सरकारों ने इसे सुलझाने में दिल्ली के साथ कंधे से कंधा मिलाकर काम किया.
पहली बार, हमें इस बात पर गर्व है कि संसद ने, चाहे वह राज्यसभा हो या लोकसभा , इस मुद्दे पर किसी ने कोई विरोध नहीं दिखाया. प्रधानमंत्री मोदी ने कहा : टीम इंडिया केंद्र है और राज्य मिलकर काम कर रहे हैं. यदि टीम इंडिया है तो हम राष्ट्रीय अंतरराष्ट्रीय मुद्दों को आसानी से सुलझा सकते हैं. उन्होंने कहा: पूर्व में भारत का आर्थिक विकास बंगाल में हुई प्रगति से तय होता था. राष्ट्र हित में बंगाल को विकास की सीढ़ी पर चढ़ना होगा. मोदी ने कहा : निश्चित रूप से आने वाले दिनों में बंगाल फिर उठेगा और महत्वपूर्ण आर्थिक ताकत बनेगा. साथ ही उन्होंने कहा : यदि बंगाल और कोलकाता मजबूत नहीं बन सकते तो देश का कोई हिस्सा मजबूत नहीं बन सकता. दूसरी हरित क्रांति का नेतृत्व पूर्वी राज्यों द्वारा किये जाने पर जोर देते हुए मोदी ने कहा कि इस विचार का मकसद पूर्वी क्षेत्र को देश के पश्चिमी हिस्से से मिलाना है. उन्होंने कहा : यदि हम भारत को मजबूत बनाना चाहते हैं तो किसानों का कल्याण सुनिश्चित करना होगा और यदि हम देश का पेट भरना चाहते हैं तो एक दूसरी हरित क्रांति यहां से शुरू की जा सकती है और आर्थिक स्थिति बदली जा सकती है. प्रधानमंत्री ने कहा कि बंगाल, बिहार और पूर्वोत्तर राज्यों में व्यापक संभावनाएं हैं क्योंकि ये उर्वरा जमीन हैं और यहां पानी भरपूर है. उन्होंने कहा: आप पश्चिमी भारत में व्यापक आर्थिक गतिविधियां देखते हैं लेकिन पूर्वी हिस्सा उपेक्षित रहा है. यदि भारत का एक हिस्सा बीमार है तो देश मजबूत नहीं बन सकता और हमारा प्रयास देश के इस हिस्से का विकास करना है.
प्रधानमंत्री ने कहा कि पश्चिम बंगाल समेत पूर्वी क्षेत्र के कोयला संपदा वाले राज्यों को कोल ब्लाक नीलामी प्रक्रिया से फायदा होगा और खनन वाले इलाकों में रहने वाले आदिवासियों के कल्याण की आधारशिला रखी जायेगी. इससे पूर्व, मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा कि राष्ट्र के विकास के लिए केंद्र और राज्यों को मिलकर काम करना होगा. उन्होंने कहा : यदि हम मिलकर काम करते हैं तो देश आगे बढ़ता है. जब हम विभाजित होते हैं तो देश का नुकसान होता है. हम लोगों के बीच विभाजन नहीं चाहते. राजनीति भी होगी लेकिन विकास भी होगा. ममता ने कहा : संघीय और केंद्रीय ढांचा रहेगा और हम संविधान के दायरे में रहते हुए मिलकर काम करेंगे. उन्होंने प्रधानमंत्री से दुर्गापुर इस्पात संयंत्र के आधुनिकीकरण की अपील करने के साथ ही कहा कि परियोजना के लिए 20 हजार करोड़ रुपये दिये जायें जिसके लिए राज्य सरकार ने जमीन दी है.
खनिज वाले इलाकों का विकास ‘फाउंडेशन’ से: प्रधानमंत्री
आसनसोल. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि खनिज बहुल इलाके के विकास के लिए संबंधित राज्यों में फाउंडेशन (स्वशासी संस्था) की स्थापना की जायेगी तथा खनिज खनन से मिलनेवाली रायल्टी की राशि उसमें जमा होगी. उसी राशि से उस इलाके का विकास होगा. इससे संबंधित राज्य पर उक्त इलाके के विकास के लिए आर्थिक बोझ भी नहीं पड़ेगा तथा इलाके का तेज गति से विकास भी होगा. प्रधानमंत्री रविवार को स्थानीय पोलो ग्राउंड में बर्नपुर इस्को स्टील प्लांट (आइएसपी) के आधुनिक व विस्तारित प्लांट के लोकार्पण समारोह को संबोधित कर रहे थे. मौके पर राज्यपाल केशरीनाथ त्रिपाठी, मुख्यमंत्री ममता बनर्जी, इस्पातमंत्री नरेंद्र सिंह तोमर, इस्पात राज्यमंत्री विष्णुदेव साई, केंद्रीय शहरी विकास राज्यमंत्री बाबुल सुप्रियो सहित राज्य के श्रम मंत्री मलय घटक, शहरी विकास मंत्री फिरहाद हाकिम, कोलकाता के मेयर शोभनदेव चक्रवर्ती व इस्पात मंत्रलय के सचिव राकेश सिंह, सेल के चेयरमैन सीएस वर्मा आदि मौजूद थे. इसके पहले प्रधान मंत्री ने प्लांट के ब्लास्ट फर्नेस का निरीक्षण किया. इस प्लांट के लोकार्पण से प्लांट से हॉट मेटल की वार्षिक उत्पादन क्षमता 0.85 मिलियन टन से बढ़ कर 2.90 मिलियन टन हो गयी.
टीम इंडिया केंद्र है और राज्य मिलकर काम कर रहे हैं. यदि टीम इंडिया है तो हम राष्ट्रीय -अंतरराष्ट्रीय मुद्दों को आसानी से सुलझा सकते हैं. पूर्व में भारत का आर्थिक विकास बंगाल में हुई प्रगति से तय होता था. राष्ट्र हित में बंगाल को विकास की सीढ़ी पर चढ़ना होगा.
नरेंद्र मोदी, प्रधानमंत्री
राष्ट्र के विकास के लिए केंद्र और राज्यों को मिलकर काम करना होगा.यदि हम मिलकर काम करते हैं तो देश आगे बढ़ता है. जब हम विभाजित होते हैं तो देश का नुकसान होता है. हम लोगों के बीच विभाजन नहीं चाहते. राजनीति भी होगी लेकिन विकास भी होगा.
ममता बनर्जी, मुख्यमंत्री, पश्चिम बंगाल
बेलूरमठ और दक्षिणोश्वर काली मंदिर की यात्रा
अपने कोलकाता प्रवास के अंतिम दिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को राज्य के दो प्रसिद्ध स्थलों बेलूरमठ और दक्षिणोश्वर काली मंदिर की यात्र की, जहां उन्होंने प्रार्थना की और ध्यान लगाया. बेलूरमठ से उनका भावनात्मक संबंध रहा है, क्योंकि वह तीन बार यहां संन्यासी बनने की कोशिश कर चुके हैं. रामकृष्ण मिशन के मुख्यालय बेलूरमठ में मोदी करीब एक घंटे तक रहे और ध्यान किया. स्वामी विवेकानंद ने जहां अपने जीवन के आखिरी दिन बिताये थे, वहां पहुंचने पर मोदी भावुक हो उठे. वह 19 वीं सदी के दार्शनिक संत की पादुका के पास करीब 15 मिनटों तक ध्यान लगाने के लिए बैठे. संन्यासियों के साथ आसानी से घुलते मिलते हुए बोले कि वह खुद को ‘घर का लड़का’ मानते हैं. मोदी वैदिक शांति मंत्रोच्चार के बीच सन्यासियों के साथ तसवीरें खिंचवाने के लिए भी खड़े हुए.
मां काली के किये दर्शन : इससे पहले दक्षिणोश्वर काली मंदिर गये, जहां श्री रामकृष्ण परमहंस रहते थे और देवी काली की पूजा करते थे. मोदी ने देवी को पुष्पांजलि अर्पित की व आरती की.
मंदिर के न्यासी व सचिव कुशल चौधरी ने कहा कि प्रधानमंत्री ने प्रार्थना कर देश के विकास के लिए शक्ति मांगी. उन्हें अशोक स्तंभ की प्रतिकृति, स्वामी विवेकानंद की मूर्ति और देवी की प्रतिमा वाला एक लॉकेट उपहार में दिया गया. यह मंदिर रामकृष्ण से अपने जुड़ाव को लेकर प्रसिद्ध है जिनके रहस्यवाद व शिक्षाओं का 19 वीं सदी के बंगाल में काफी प्रभाव था.