ज्ञान का दुरुपयोग विनाश का कारण : संत श्री बालकदास जी
हावड़ा. श्री रामकृष्ण सेवा समिति की ओर से पुरुषोत्तम माह के अवसर पर सलकिया के जीटी रोड (नॉर्थ) स्थित कृष्ण भवन में आयोजित सप्ताहव्यापी भागवत कथा के दूसरे दिन का शुभारंभ समिति के अध्यक्ष नरेश नंगालिया द्वारा कथा व्यास संत श्री बालकदास जी महाराज को माल्यार्पण करने एवं आज के कथा के मुख्य यजमान गोपाल […]
हावड़ा. श्री रामकृष्ण सेवा समिति की ओर से पुरुषोत्तम माह के अवसर पर सलकिया के जीटी रोड (नॉर्थ) स्थित कृष्ण भवन में आयोजित सप्ताहव्यापी भागवत कथा के दूसरे दिन का शुभारंभ समिति के अध्यक्ष नरेश नंगालिया द्वारा कथा व्यास संत श्री बालकदास जी महाराज को माल्यार्पण करने एवं आज के कथा के मुख्य यजमान गोपाल अग्रवाल, रमेश ककरानिया एवं किशन कुमार केजरीवाल द्वारा व्यासपीठ के पूजन के साथ हुआ. आज दूसरे दिन नारद चरित्र एवं कपिल देवहूति संवाद सुनाते हुए व्यासपीठाधीश्वर संत बालकदास जी ने कहा कि साधु (सज्जन पुरुष)वही है जो प्रत्येक प्राणी मात्र के प्रति दया का भाव रखे. अहंकार को त्याग कर उद्देश्य की प्राप्ति के लिए किये गये प्रयत्न से ही सफलता मिलती है. कपिल देवाहूति संवाद सुनाते हुए उन्होंने बताया कि ज्ञान का दुरुपयोग श्रेष्ठ पुरुष नहीं करते. ज्ञान का सदुपयोग रचनात्मक प्रवृति को जन्म देता है जबकि दुरुपयोग विनाश की ओर ले जाता है. ज्ञानी होते हुए भी यदि हम भगवान से दूर रहें तो ज्ञान किसी काम का नहीं होता. दक्ष प्रजापति, सती एवं शिव की कथा सुनाते हुए महाराज श्री ने कहा कि बिना बुलाये किसी के घर जाने से व्यक्ति का अपमान होता है अत: आदर सहित ही दूसरे के घर जाना चाहिए.कार्यक्रम के संयोजक बाबूलाल गुप्ता ने बताया कि आयोजन के तीसरे दिन (रविवार) श्री जड़ भरत, प्रह्लाद एवं नरसिंह अवतार के प्रसंग पर (अपराह्न 3 बजे)महाराज श्री कथा प्रवचन करेंगे. आयोजन की सफलता में धर्मराज प्रेमराजका, राम अवतार थरड सहित हरिशचंद्र अग्रवाल, राकेश खेतड़ीवाल, सागरमल गुप्ता व अन्य सक्रिय हैं.