प्रसिद्ध इंजीनियरिंग कॉलेजों में बीयूआइइ ने बनायी पहचान

कोलकाता. सरकार समर्थित डिग्री इंजीनियरिंग कॉलेज बांकुड़ा उन्नयनी इंस्टीटय़ूट ऑफ इंजीनियरिंग (बीयूआइइ) की स्थापना वर्ष 1998 में बाकुड़ा जिले के कुछ शिक्षाविदों व समाजसेवियों द्वारा की गयी थी. यह एआइसीटीइ व डब्ल्यूबीयूटी एफीलिएटेड है. स्थापना के बाद 16 साल से लगातार यह कॉलेज पश्चिम बंगाल के साथ-साथ पूरे भारत में इंजीनियरिंग शिक्षा के क्षेत्र में […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 15, 2015 1:44 AM
कोलकाता. सरकार समर्थित डिग्री इंजीनियरिंग कॉलेज बांकुड़ा उन्नयनी इंस्टीटय़ूट ऑफ इंजीनियरिंग (बीयूआइइ) की स्थापना वर्ष 1998 में बाकुड़ा जिले के कुछ शिक्षाविदों व समाजसेवियों द्वारा की गयी थी. यह एआइसीटीइ व डब्ल्यूबीयूटी एफीलिएटेड है. स्थापना के बाद 16 साल से लगातार यह कॉलेज पश्चिम बंगाल के साथ-साथ पूरे भारत में इंजीनियरिंग शिक्षा के क्षेत्र में अपनी गरिमा और प्रतिष्ठा स्थापित करने में सफल रहा है.

यहां कंप्यूटर साइंस व इंजीनियरिंग, इंफार्मेशन टेक्नोलॉजी, इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग, सिविल इंजीनियरिंग, मैकेनिकल इंजीनियरिंग, इलेक्ट्रॉनिक्स व कम्युनिकेशन इंजीनियिरंग व एप्लाइड इलेक्ट्रॉनिक्स व इंस्ट्रूमेंटेशन इंजीनियरिंग में बी टेक की शिक्षा दी जाती है. इसके अलावा यहां एमटेक की शिक्षा कंप्यूटर इंजीनियरिंग साइंस व इंजीनियरिंग और इलेक्ट्रॉनिक्स व कम्युनिकेश्न इंजीनियरिंग (वीएलएसआइ) में दी जाती है.

कॉलेज के सचिव प्रोफेसर प्रदीप मुखर्जी व कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ शुभव्रत दत्ता ने बताया कि इस कॉलेज के छात्रों को अनुभवी व उच्च शिक्षित प्राध्यापक द्वारा उच्च शिक्षा प्रदान की जाती है. उन्होंने बताया कि प्रत्येक लेब्रेटॉरी में आधुनिक उपकरण के द्वारा व्यावहारिक शिक्षा दी जाती है. कॉलेज व छात्रवास में वाइफाइ की सुविधा है. कॉलेज परिसर में बैंक व एटीएम की सुविधा है.

कमजोर छात्रों के लिए विशेष कक्षा की व्यवस्था है. छात्रों के लिए डॉक्टर व एंबुलेंस की भी सुविधा है. इसके अलावा गरीब वं मेधावी छात्रों को परिस्थिति के आधार पर छात्रवृत्ति भी दी जाती है. इस कॉलेज को टेक्निकल एडुकेशन क्वालिटी इंप्रूवेमेंट प्रोग्राम, फेज-दो, विश्व बैंक मदद प्राप्त, एचएचआरडी (मिनिस्ट्री ऑफ ह्यूमैन रिसोर्स डिपार्टमेंट) के साथ युक्त है, जो शिक्षा के विकास में सहायक है. इस कॉलेज को एबीपी न्यूज नेशनल एडुकेशन अवार्ड 2015 से पुरस्कृत किया गया है.

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