बोस से जुड़े गोपनीय दस्तावेज संबंधी जनहित याचिका पर सुनवाई से न्यायालय का इनकार

कोलकाता/नयी दिल्ली : उच्चतम न्यायालय ने आज वह जनहित याचिका ठुकरा दी जिसमें सुभाष चंद्र बोस के बारे में गोपनीय दस्तावेजों को सार्वजनिक करने के लिए केंद्र को आदेश देने का आग्रह किया गया था. न्यायमूर्ति ए आर दवे और न्यायमूर्ति ए के गोयल की पीठ ने कहा ‘‘गृह मंत्रालय और प्रधानमंत्री कार्यालय में मुख्य […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 22, 2015 8:11 AM
कोलकाता/नयी दिल्ली : उच्चतम न्यायालय ने आज वह जनहित याचिका ठुकरा दी जिसमें सुभाष चंद्र बोस के बारे में गोपनीय दस्तावेजों को सार्वजनिक करने के लिए केंद्र को आदेश देने का आग्रह किया गया था. न्यायमूर्ति ए आर दवे और न्यायमूर्ति ए के गोयल की पीठ ने कहा ‘‘गृह मंत्रालय और प्रधानमंत्री कार्यालय में मुख्य सचिव को याचिकाकर्ता के अभ्यावेदन का जवाब देने दें.’ पीठ ने याचिकाकर्ता स्नेहाशीष मुखर्जी को दो विकल्प दिए कि उन्हें या तो उच्च न्यायालय जाना चाहिए या वह इस मुद्दे को लेकर अभ्यावेदनों पर सरकार के जवाब का इंतजार करें.
मुखर्जी ने पूर्व की विभिन्न सरकारों पर मामले के तथ्यों का खुलासा न करने का आरोप लगाते हुए कहा कि ‘‘ऐसी सूचना का खुलासा न करने से मौलिक अधिकार का हनन होता है.’ पीठ ने कहा ‘‘कृपया मौलिक अधिकार :के मुद्दे को: हर जगह न ले जाएं.’ इस बीच, याचिकाकर्ता ने पश्चिम बंगाल सरकार द्वारा हाल ही में सार्वजनिक की गइ’ 64 गोपनीय फाइलों का संदर्भ दिया और केंद्र को भी ऐसा ही करने का आदेश दिए जाने की मांग की.

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