कोलकाता : स्टिंग ऑपरेशन के नाम पर मीडिया ब्लैकमेल करने का काम कर रहा है. नारद न्यूज के स्टिंग वीडियो को लेकर भी ऐसा ही किया गया है. पहले वीडियो बनाया और फिर ब्लैकमेल करना शुरू कर दिया. पैसों पर बात नहीं बनी, तो उसे फिर से जारी कर दिया. इसलिए इस स्टिंग वीडियो कांड की जांच होगी और इसके पीछे किसका हाथ है, उसे सबके सामने लाना होगा. ये बातें शनिवार को मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने नेताजी इनडोर स्टेडियम में तृणमूल कांग्रेस की कार्यशाला के दौरान कहीं.
गौरतलब है कि कार्यशाला के एक दिन पहले मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने नारद स्टिंग कांड की जांच करने का निर्देश दिया है. मामले की जांच अभी शुरू भी नहीं हुई है, लेकिन मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने स्टिंग ऑपरेशन में जिन नेताओं के खिलाफ घूस लेने का आरोप लगाया गया है, उनको क्लीनचिट दे दी है और मीडिया के खिलाफ ही उंगली उठायी है.
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सभा के दौरान कहा कि स्टिंग में शुभेंदु अधिकारी, फिरहाद हकीम आदि को रुपये लेते हुए दिखाया गया है, लेकिन इन लोगों के पास रुपये की कमी नहीं है, जो वह दो-चार लाख रुपये घूस लेने जायेंगे. मुख्यमंत्री ने दावा करते हुए कहा कि किसी ने घूस नहीं लिया है.
उन्होंने स्टिंग ऑपरेशन करनेवाली मीडिया की भूमिका पर सवाल उठाते हुए कहा कि कोई भी मीडिया से जुड़ा व्यक्ति अगर उनसे मिलने के लिए समय मांगता है, तो पार्टी के नेता व मंत्री उनको समय देते हैं. और अगर कोई उनके टेबल पर रुपये रख दे या उनके हाथ में रुपये थमा दे और बाद में इसी वीडियो को लेकर ब्लैकमेल करे, तो ऐसा कैसे चलेगा.
यह तो मीडिया की भूमिका पर भी सवाल उठाता है. ऐसे में तो हम मीडिया के लोगों पर भी भराेसा नहीं करेंगे. घूस कांड के नाम पर नेताओं, मंत्रियों व पार्टी को बदनाम किया जा रहा है. यह कौन कर रहा है, उसका ही पता लगाना है. साजिश के तहत इस घटना को अंजाम दिया गया है. उन्होंने दावा करते हुए कहा कि नारदा हो या सारदा, पार्टी के किसी भी नेता ने एक रुपये नहीं लिया.