गर्दन पर भुजाली रख फूंक दिया घर
हावड़ा: हमारी आंखों के सामने घर फूंक दिये गये. जेवरात-नकदी लूट लिये गये. बच्चों की गर्दन पर भुजाली रखकर घर में तोड़फोड़ करने के बाद सिलिंडर से गैस रिसाव कर आग लगा दी. हमारी बहु-बेटियों के साथ जबरदस्ती करने की कोशिश की गयी. पांच इलाकों में चार से पांच घंटे तक तक उपद्रवी उत्पात मचाते […]
By Prabhat Khabar Digital Desk |
December 21, 2016 7:47 AM
हावड़ा: हमारी आंखों के सामने घर फूंक दिये गये. जेवरात-नकदी लूट लिये गये. बच्चों की गर्दन पर भुजाली रखकर घर में तोड़फोड़ करने के बाद सिलिंडर से गैस रिसाव कर आग लगा दी. हमारी बहु-बेटियों के साथ जबरदस्ती करने की कोशिश की गयी. पांच इलाकों में चार से पांच घंटे तक तक उपद्रवी उत्पात मचाते रहे लेकिन पुलिस चैन की नींद सोती रही. दूसरे इलाके से आये उपद्रवी अपना काम कर निकल गये और हम पुलिस के आने की राह ताकते रह गये. वही हुआ जिसकी उम्मीद थी.
सब कुछ राख हो गया, तब पुलिस पहुंची. उपद्रवियों के जाने के बाद इलाकों को पुलिस छावनी में तब्दील कर दिया गया. पुलिस और रैफ के जवान तैनात कर दिये गये. लेकिन तब तक हमारे पास खोने के लिए कुछ नहीं बचा था. यह आपबीती है धूलागढ़ के उन पीड़ितों की जिनके घर-बार दो संप्रदाय के बीच हुए संघर्ष की भेंट चढ़ गये. पीड़ितों ने बताया कि 100 से अधिक मकान और दुकानें फूंक दी गयी है.
बेघर हुए लोग अपने रिश्तेदारों के यहां रह रहे हैं. हम पर ढाये गये कहर की खबर तृणमूल सुप्रीमो सह मुख्यमंत्री ममता बनर्जी तक पहुंची होगी, लेकिन अब तक ना वो और ना हीं कोई मंत्री हमारी सुध लेने आया. हिंसा का दर्द बयां करते हुए मां-बेटी मौसमी माल्लो व लक्खी माल्लो रो पड़ीं. उन्होंने बताया: हमारा घर फूंक दिया गया. हम अपने रिश्तेदार के घर में रह रहे हैं. खाने को भी लाले पड़ गये हैं. पुलिस हमें घर जाने से रोक रही है. पीड़िता मौयत्री मंडल ने कहा: मेरे दो घरों में आग लगा दी गयी. दशवीं का छात्र मेरा बेटा दर-दर की ठोंकरे खा रहा है. हम बेघर हो गये हैं. मेरी गर्दन पर भुजाली रखकर घरों में लूटपाट करने के बाद फूंक दिया.
बोले एसपी
धूलागढ़ में दो गुटों के बीच झड़प हुई थी. कोई बड़ी घटना नहीं हुई है. पुलिस ने स्थिति नियंत्रित कर ली है. इलाके में पुलिसकर्मियों को तैनात कर दिया गया है. स्थिति पर पूरी नजर रखी जा रही है.
सब्यसाची रमण मिश्रा, ग्रामीण एसपी.
पीड़ित परिवार को 10-10 लाख मिले मुआवजा
पुलिस वालों ने भाजपा की टीम को घटनास्थल पर जाने से रोक दिया. अच्छा होता कि पुलिस उन हमलावरों को रोकती, जिनके कारण हजारों लोग बेघर हुए हैं. राज्य सरकार प्रत्येक पीड़ित परिवार को 10-10 लाख रुपये मुआवजा दे. साथ ही दोषी पुलिसकर्मियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाये और उपद्रवियों को फौरन गिरफ्तार किया जाये. पूरी घटना की रिपोर्ट केंद्र सरकार के पास भेजी जायेगी.
मनोज टिग्गा, भाजपा विधायक.
घटना के लिए पुलिस जिम्मेदार
पुलिस वालों ने जो मुस्तैदी अभी दिखायी है, वह पहले दिखाते तो यह घटना ही नहीं होती. दोषी पुलिस वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिए. पुलिसवाले यदि जनता की रक्षा नहीं कर सकते हैं, तो उन्हें कोई अधिकार नहीं है कि वे वरदी पहनें. लोगों के घर जला दिये गये. बेघर हुए लोग आशियाना खोज रहे हैं. पूरी घटना के लिए पुलिस ही जिम्मेदार है.
उमेश राय, भाजपा नेता.