कोलकाता : मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने गुरुवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ बैठक की. बैठक के बाद बनर्जी ने दावा किया कि प्रधानमंत्री के साथ केवल विकास के मुद्दे पर बातचीत हुई. इस बैठक में राष्ट्रपति चुनाव के मुद्दे पर हमलोगों के बीच कोई बातचीत नहीं हुई. एक सवाल के जवाब में मुख्यमंत्री ने कहा कि देश सबसे बड़ा है और राष्ट्रपति हमारे देश का मुखिया होता है. अगर आम सहमति से उम्मीदवार होता तो बेहतर होता. एपीजे अब्दुल कलाम एक सर्वमान्य उम्मीदवार थे.
राष्ट्रपति चुनाव में विपक्ष का साझा उम्मीदवार चुने जाने के मुद्दे पर कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के साथ बैठक करने दिल्ली पहुंची तृणमूल सुप्रीमो व मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने उस बैठक से एक दिन पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ भेंट की. प्रधानमंत्री के साथ बैठक करने के बाद पत्रकारों से बात करते हुए सुश्री बनर्जी ने कहा कि नरेंद्र मोदी को प्रधानमंत्री बने तीन वर्ष हो गये हैं, इस दौरान वह उनसे सात-आठ बार मिल चुकी हैं.
ममता ने कहा वित्त मंत्री और अन्य मंत्रियों से भी वह मिलती रही हैं. इस बैठक में मैने प्रधानमंत्री के सामने गंगा कटाव के मुद्दे पर बात की. फरक्का समझौते के समय बंगाल को फंड देने की बात कही गयी थी, पर आजतक हमें एक भी पैसा नहीं मिला है. आजतक गंगा की सफाई नहीं हुई. फरक्का बैरेज की वजह से बंगाल के किसानों को 1000 करोड़ रुपये का नुक्सान हुआ है. संपत्ति भी काफी बर्बाद हुई है.
उन्होंने कहा कि पानी नहीं मिलने के कारण एनटीपीसी का यूनिट बार-बार बंद हो जाता है. कभी बिहार में बाढ़ आ जाती है. हमने इस समस्या से निपटने के लिए प्रधानमंत्री से एक मास्टरप्लान तैयार करने का आह्वान किया है.
मुख्यमंत्री ने कहा कि बांग्लादेश हमारा मित्र देश है. पर उसने आत्रेयी नदी पर हम लोगों से पूछे बगैर डैम बना दिया है. जिसकी वजह से इधर पानी नहीं आता है. किसान बेहद परेशान हैं. अधिक पानी होने पर वह लोग छोड़ देते हैं, जिससे बाढ़ आ जाती है. माथाभांगा नदी को बांग्लादेश ने इतना प्रदूषित कर दिया है कि उससे बंगाल के कई इलाके प्रदूषित हो गये हैं. इसके साथ ही बांग्लादेश ने आम पर एक्सपोर्ट डयूटी दोगुना कर दिया है, जिसकी वजह से बंगाल के आम उत्पादक वहां अपना आम नहीं भेज पा रहे हैं.
मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछली वाममोरचा सरकार ने हम लोगों पर इतना कर्ज लाद दिया है कि हमारा सब पैसा उसे भरने में चला जाता है. ऐसे में विकास का काम कैसे होगा. केरल व पंजाब की भी यही स्थिति है. सुश्री बनर्जी ने आरोप लगाया कि केंद्र ने राज्य में चल रही 39 परियोजनाओं को बंद कर दिया है. कई परियोजनाओं के खर्च में राज्य का हिस्सा बढ़ा दिया है. यह ठीक नहीं है. मैने प्रधानमंत्री से इस संबंध में एक नीति तैयार करने का आवेदन किया है. सौ दिन रोजगार के लिए कुछ फंड मिला है, पर अभी भी आठ हजार करोड़ रुपये केंद्र के पास बाकी है.
उन्होंने कहा कि हमने केवल विकास के मुद्दे पर प्रधानमंत्री से बात की है, उन्होंने मदद का आश्वासन दिया है.