Aparajita Bill 2024 : पश्चिम बंगाल विधानसभा ने विपक्ष के पूर्ण समर्थन के साथ राज्य का बलात्कार रोधी विधेयक सर्वसम्मति से पारित किया गया है. ममता बनर्जी (Mamata Banerjee) की सरकार का मानना है कि महिलाओं की सुरक्षा हमारी पहली प्रथमिकता है. ममता बनर्जी ने कहा कि इस विधेयक के पारित होने के बाद हम यह सुनिश्चित करने के लिए पुलिस में विशेष अपराजिता कार्य बल गठित करेंगे कि दुष्कर्म के मामलों में जांच समयबद्ध तरीके से पूरी हो. इसके अलावा आइये जानते है कि अपराजिता बिल के जरिये बंगाल की महिलाओं को क्या सुरक्षा मुहैया करा रही है राज्य सरकार.
महिलाओं की सुरक्षा के लिये अपराजिता बिल में क्या है खास
- पीड़ित कोमा में गई या मौत हुई तो दोषी को 10 दिन में फांसी होगी.
- दुष्कर्म के लिए आजीवन कारावास या मृत्युदंड और जुर्माना
- पीड़िता की पहचान का खुलासा करने, मामले में बिना अनुमति के मुकदमे की कार्यवाही के विवरण के खुलासे पर 3-5 साल की कैद.
- 16 वर्ष से कम उम्र की युवती से दुष्कर्म पर न्यूनतम 20 वर्ष की कैद या आजीवन कठोर कारावास और जुर्माने से दंडनीय है.
- 12 वर्ष से कम उम्र की बालिका से दुष्कर्म पर कम से कम 20 वर्ष की कैद या आजीवन कारावास और जुर्माना, या मौत की सजा दी जाएगी.
- 18 वर्ष से कम की युवती होने पर आजीवन कारावास जुर्माना या मृत्युदंड.
- गंभीर अपराध के मामले में न्यूनतम सात दिनों के भीतर जांच पूरी की जानी चाहिए. पुराने कानून में एक महीने का समय जांच के लिए दिया गया था.
- जहां मूल अधिनियम में एक वर्ष के भीतर सजा का प्रावधान था, इसे एक माह के अंदर सुनिश्चित करने को कहा गया है.
- मूल अधिनियम में पुलिस स्टेशन को घटना दर्ज करने के दो महीने के भीतर अपनी जांच पूरी करने का प्रावधान था. अब इस संशोधन में इसे 21 दिन के अंदर पूरा करना होगा.
- दुष्कर्म के किसी मामले में अगर 21 दिन के अंदर जांच पूरी नहीं होती है तो 15 दिन का अतिरिक्त समय मिलेगा.
- बिल में कहा गया है कि स्पेशल कोर्ट और स्पेशल जांच टीमें बनाई जाएंगी. इन्हें जरूरी संसाधन और विशेषज्ञ मुहैया कराए जाएंगे, जो रेप और बच्चों के यौन शोषण से जुड़े मामले देखेंगे. इनका काम तेजी से जांच, जल्द न्याय दिलाना और पीड़ित को होने वाले ट्रॉमा को कम करना होगा.
महिलाओं की सुरक्षा को लेकर विशेष व्यवस्थाएं
- ममता बनर्जी ने कहा, मैंने पहले ही स्वास्थ्य सचिव से कहा है कि जिन मार्गों पर नर्स और महिला डॉक्टर यात्रा करती हैं, उन्हें कवर किया जाना चाहिए, इसके लिए मैंने 120 करोड़ रुपये मंजूर किए हैं.
- हर जगह CCTV कैमरे लगाए जाएंगे, जहां टॉयलेट नहीं है, वहां इसकी व्यवस्था की जाएगी.
- ‘रात्रि साथी’ का भी प्रावधान किया है, जिसमें कहा गया है कि महिलाएं 12 घंटे ड्यूटी करेंगी, और जरूरत पड़ती है तो डॉक्टर उनकी ड्यूटी बढ़ाएंगे. हमने महिलाओं की सुरक्षा के लिए ऐसा किया है.
- रात में काम करने वाली महिलाओं को पूरी सुरक्षा दी जाएगी, हमने अस्पतालों, स्कूलों, मिड-डे मील केंद्रों को भी उचित कदम उठाने को कहा है.