संवाददाता, कोलकाता
कृषि मंत्री शोभनदेब चट्टोपाध्याय ने बताया कि आलू की बढ़ी कीमत को नियंत्रित करने के लिए राज्य सरकार पूरी कोशिश कर रही है. मंत्री ने बताया कि केवल कोलकाता में ही आलू की कीमत अधिक है. जिलों में स्थिति काबू में है.
उन्होंने सदन को बताया कि आलू के थोक व्यवसायी अधिक मुनाफा कमाने के लिए आलू दूसरे राज्यों को भेज रहे थे. राज्य सरकार ने इस पर रोक लगा दी है. बाजारों पर नजर रखने के लिए सीएम ममता बनर्जी के निर्देश पर टास्क फोर्स का गठन किया गया है. टॉस्क फोर्स की ओर से कोलकाता समेत राज्य भर के बाजारों पर नजर रखी जा रही है. कृषि मंत्री ने सदन को बताया कि इस वर्ष चक्रवात डाना के प्रभाव से आलू की खेती को काफी नुकसान पहुंचा है. खेत में लगा हुआ बीज नष्ट हो जाने के कारण कृषकों को दोबारा खेती करनी पड़ी है.
उधर, जब विधानसभा में वित्तीय वर्ष 2022-23, 2023-24 में राज्य में उत्पादित आलू की पैदावार के बारे में पूछा गया, तो मंत्री ने कहा कि 22 जिलों में राज्य में वित्तीय वर्ष 22-23 में 1,48,25,643 मीट्रिक टन और वित्तीय वर्ष 23-24 में 1,27,63,081 मीट्रिक टन आलू का उत्पादन हुआ. आलू किसानों के विकास के लिए सरकार की योजनाओं के बारे में मंत्री ने कहा कि आलू के बीज की आपूर्ति के लिए बाहरी राज्यों पर निर्भर रहने के बजाय, उच्च तकनीक वाले आलू के बीज और एपिकल रूटेड कटिंग विधि के माध्यम से उत्पादन की प्रक्रिया शुरू हो गयी है. वर्ष 2023-24 के दौरान राज्य के 13 जिलों में सफलतापूर्वक कार्य किया जा रहा है. मंत्री ने बताया कि राज्य में बेहतर गुणवत्ता के प्रमाणित आलू के बीज का उत्पादन किया जा रहा है. साथ ही समय पर कृषि सलाह भी कृषकों को दी जा रही है. इसके साथ ही कृषकों की मदद के लिए सरकार फसल बीमा का पूरा प्रीमियम वहन करेगी.
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