सीआइडी ने बेगूसराय में कंस्ट्रक्शन से जुड़े व्यवसायी को ठगी के आरोप में किया गिरफ्तार

गिरफ्तार व्यवसायी का नाम रजनीश रंजन (23) है. वह बिहार के बेगूसराय जिले में स्थित नया गांव इलाके के दरियापुर गांव का रहने वाला है.

By Prabhat Khabar News Desk | January 11, 2025 1:17 AM

कंस्ट्रक्शन का धंधा मंदा पड़ा तो शुरू किया लोगों को ठगने का सिलसिला कोलकाता. पश्चिम बंगाल पुलिस की सीआइडी की टीम ने ठगी के आरोप में बिहार में कंस्ट्रक्शन कारोबार से जुड़े व्यवसायी को 70 हजार रुपये ठगी के आरोप में गिरफ्तार किया है. गिरफ्तार व्यवसायी का नाम रजनीश रंजन (23) है. वह बिहार के बेगूसराय जिले में स्थित नया गांव इलाके के दरियापुर गांव का रहने वाला है. उस पर एटीएम काउंटर लगाने के नाम पर पैसे ऐंठने का आरोप लगा है.

पुलिस सूत्र बताते हैं कि मेदिनीपुर के निवासी के पास पिछले वर्ष अगस्त महीने में अनजान नंबर से किसी ने फोन किया था. फोन करनेवाले उस व्यक्ति ने अपना परिचय एक प्रतिष्ठित ऋण देने वाली कंपनी के अधिकारी के रूप में दिया था. उसने बताया कि उनकी कंपनी के पास एक एटीएम काउंटर भी है. पीड़ित का आरोप है कि फोन करनेवाले ने उसे फोन पर लालच दिया और कहा कि उनकी कंपनी कई एटीएम काउंटर बिठाने के लिए जगह की तलाश कर रही है. अगर वह जगह देते हैं तो उन्हें मोटी रकम और हर महीने किराये के तौर पर बड़ी राशि मिलेगी. पीड़ित का कहना था कि फोन करनेवाले आरोपी ने उन्हें सोशल मीडिया पर कई फर्जी दस्तावेज भी भेजे.

सीआइडी सूत्र बताते हैं कि आरोपी से पूछताछ में पता चला कि वह पेशे से वह कंस्ट्रक्शन कारोबारी है. मुख्य रूप से प्रमोटरों को निर्माण सामग्री की आपूर्ति करता है, लेकिन पिछले साल से धंधा मंदा होने के कारण उसने लोगों को ठगने का धंधा शुरू कर दिया. इसी तरह से वह लोगों को झूठे झांसे में फंसाकर मोटी रकम ठगता था. सीआइडी अधिकारियों का मानना है कि गिरफ्तार आरोपी ने इसी तरह अन्य लोगों के साथ भी वारदात को अंजाम दिया है. उसके साथियों की तलाश की जा रही है.

मोटी रकम की कमाई के झांसे में फंसकर दिये 70 हजार

शिकायतकर्ता ने बताया कि लुभावने प्रस्ताव सुनकर वह उस जाल में फंस गये. उन्होंने कहा कि उनके घर के पास एक जगह है. यहां वह एटीएम काउंटर बिठाने के लिए अपनी जमीन लीज पर उनके बैंक को दे सकते हैं. यह सुनकर आरोपी ने उससे कहा कि एटीएम काउंटर बिठाने की प्रक्रिया शुरू करने के पहले उन्हें प्रोसेसिंग फीस का भुगतान पहले करना होगा क्योंकि, दूसरे शहरों से उस संस्था के मालिक मेदिनीपुर में जाकर जगह की जांच करेंगे. फायदे और नुकसान देखेंगे. अगर उन्हें जगह पसंद नहीं आयी तो पैसे वापस कर दिये जायेंगे. लेकिन अगर पैसे नहीं दिये गये तो कोई काम शुरू नहीं होगा. पीड़ित का कहना है कि यह सुनकर उसने फोन करनेवाले साइबर अपराधियों द्वारा बताये गये एक बैंक खाते में कई किश्तों में 70 हजार रुपये जमा करा दिये. पीड़ित का आरोप है कि इसके बाद आरोपी ने बातचीत बंद कर दी. अपना मोबाइल भी बंद कर दिया.

संपर्क करने का सारा जरिया बंद होने के बाद पीड़ित ने गत वर्ष सितंबर महीने में आरोपी के खिलाफ शिकायत दर्ज करायी थी. उसी आधार पर सीआइडी ने जांच शुरू की. अधिकारियों ने बिहार के बेगुसराय के निवासी की बतौर आरोपी पहचान की. रजनीश को बेगुसराय के दरियापुर गांव में छापेमारी कर गिरफ्तार कर लिया.

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