संवाददाता, कमरहट्टी
आगरपाड़ा जूट मिल में चल रहे गतिरोध के बीच शुक्रवार को हाइकोर्ट इसे लेकर फैसला सुना सकता है. यह मामला हाइकोर्ट के डिवीजन बेंच में है. इससे पहले आगरपाड़ा जूट मिल पर कब्जा को लेकर मालिक पक्ष दो भाईयों के बीच विवाद में हाइकोर्ट में याचिका दायर की गयी थी और इस मामले की जांच के दौरान जूट उत्पादों की तस्करी का भी मामला सामने आया था. 40 से 50 बदमाशों ने जूट मिल में घुसकर मैनेजर सहित अन्य कई लोगों की पिटाई कर लूटपाट का आरोप सामने आया था. इसके बाद हाइकोर्ट ने सीबीआइ जांच का आदेश दिया था. गत 22 अगस्त से 15 अक्तूबर तक मिल में श्रमिकों ने काम बंद कर रखा था. इधर, एक पक्ष ने आरोप लगाया कि कोर्ट के आदेश की अवहेलना कर मिल में बुधवार रात में जबरन घुसकर एक मालिक पक्ष ने काम शुरू करवाया है.
इधर, मिल के बीजेएमडब्ल्यू यूनियन के सचिव अमल कुमार सेन ने बताया कि लीगल तरीके से ही मिल में काम शुरू किया गया है. शुरू से जिस मालिक के पक्ष में मजदूर थे, उसी के पक्ष में हैं, जबकि तीन अक्तूबर को एक पक्ष ने जबरन कब्जा करने की कोशिश की थी. मिल में करीब ढाई हजार श्रमिक काम करते हैं. बुधवार रात से मिल में काम शुरू कर दिया गया है.
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