हथिनी की हत्या का एफआइएपीओ ने किया विरोध, जांच कमेटी गठित करने की मांग की
राज्य के झाड़ग्राम में एक मादा हाथी पर जलता हुआ नुकीला लोहे का भाला फेंककर उसकी हत्या की घटना का फेडरेशन ऑफ इंडियन एनिमल प्रोटेक्शन ऑर्गेनाइजेशन (एफआइएपीओ) ने विरोध किया है.
संवाददाता, कोलकाता. राज्य के झाड़ग्राम में एक मादा हाथी पर जलता हुआ नुकीला लोहे का भाला फेंककर उसकी हत्या की घटना का फेडरेशन ऑफ इंडियन एनिमल प्रोटेक्शन ऑर्गेनाइजेशन (एफआइएपीओ) ने विरोध किया है. घटना को लेकर ऑर्गेनाइजेशन का कहना है कि पश्चिम बंगाल में मानव और हाथी संघर्ष को कम करें. संस्था पश्चिम बंगाल सरकार से मांग करती है कि वह तत्काल इस घटना की जांच कराये. इस संबंध में सेंटर फॉर रिसर्च ऑन एनिमल राइट्स के संस्थापक और एफआइएपीओ के ट्रस्टी आलोक हिसारवाला ने कहा कि राज्य में मानव-हाथी संघर्ष की घटनाएं लगातार बढ़ रही हैं. ऐसा प्रतीत होता है कि अब हाथी और इंसान एक-दूसरे के साथ युद्ध कर रहे हैं. हाल ही में मादा हाथी की नृशंस हत्या, एक भयानक, दुर्भाग्यपूर्ण वास्तविकता है. कोलकाता स्थित सहयोगी संगठन स्ट्राइप्स एंड ग्रीन अर्थ (एसएजीई) के निदेशक सागनिक सेनगुप्ता ने कहा कि पश्चिम बंगाल वन विभाग, मानव और हाथी संघर्ष के प्रबंधन में बार-बार विफल रहा है. झाड़ग्राम डिवीजन में एक साल के भीतर दो गर्भवती हाथियों की मौत हुई है. संगठन ने पश्चिम बंगाल सरकार से तुरंत इस घटना की जांच के लिए समिति गठित करने की मांग की है.
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