हुगली. 700 वर्षों के इतिहास के बाद फिर त्रिवेणी संगम पर कुंभ मेले का आयोजन हुआ, जिसमें माघी पूर्णिमा के दिन श्रद्धालुओं की रिकॉर्ड भीड़ उमड़ी. कुंभ मेले का यह चौथा वर्ष है. हजारों की संख्या में साधु-संतों और श्रद्धालुओं ने हुगली, कुंती और सरस्वती के पावन संगम में पुण्य स्नान किया. इस ऐतिहासिक आयोजन को देखते हुए प्रशासन पूरी तरह सतर्क रहा और भीड़ नियंत्रण के लिए व्यापक इंतजाम किये गये. जिलाधिकारी मुक्ता आर्या, ग्रामीण पुलिस अधीक्षक कामनाशीष सेन, एसडीओ स्मिता सान्याल शुक्ला, एडीएम तरुण भट्टाचार्य समेत अन्य वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी त्रिवेणी संगम पहुंचे और व्यवस्थाओं की निगरानी की. यहां तक कि जिलाधिकारी ने खुद अपने हाथों से प्रसाद वितरण किया. नागा साधुओं की उपस्थिति कुंभ मेले का मुख्य आकर्षण रहा. बुधवार को साधु-संतों ने नगर परिक्रमा करने के बाद संगम में स्नान किया. राज्य के विभिन्न हिस्सों से आये श्रद्धालुओं के अलावा वे तीर्थयात्री भी यहां पहुंचे, जो प्रयागराज महाकुंभ में जाने से वंचित रह गये थे. भीड़ को नियंत्रित करने और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए पुलिस बल, स्वयंसेवक और बांसबेड़िया नगरपालिका के चेयरमैन आदित्य नियोगी, वाइस चेयरमैन शिल्पी चटर्जी, पार्षदों व नगरपालिका कर्मी तैनात रहे. डिजास्टर मैनेजमेंट टीम ने स्पीड बोट से पूरे आयोजन पर नजर रखी, जबकि सुरक्षा के मद्देनजर घाटों पर जाल लगाये गये, ताकि कोई दुर्घटना न हो. पुलिस ने बांस के ड्रॉप गेट तैयार कर भीड़ को नियंत्रित किया. एडिशनल एसपी कल्याण सरकार, डीएसपी क्राइम अभिजीत सिन्हा महापात्र, सीआइ सोमेन विश्वास, थाना प्रभारी दीपांकर सरकार, बांसबेड़िया मिल फांड़ी प्रभारी सुजीत राय समेत अन्य पुलिस अधिकारी भी लगातार व्यवस्था संभालते रहे. इस ऐतिहासिक अवसर पर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने त्रिवेणी कुंभ मेले के लिए अपनी शुभकामनाएं भेजीं. साथ ही, केंद्रीय मंत्री सुकांत मजूमदार और हुगली की सांसद रचना बनर्जी भी त्रिवेणी पहुंचीं और संगम में स्नान कर श्रद्धालुओं के साथ इस पावन आयोजन में शामिल हुईं.
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