सुधार गृह में माली का काम कर सकता है संजय राय
आरजी कर मामले में दोषी संजय राय एक या दो दिनों में शुरू कर देगा काम
कोलकाता. कोलकाता के आरजी कर अस्पताल में एक महिला चिकित्सक से दुष्कर्म के बाद हत्या करने के मामले में दोषी संजय राय प्रेसिडेंसी सुधार गृह में माली के तौर पर काम कर सकता है. एक अधिकारी ने बुधवार को यह जानकारी दी. संजय प्रेसिडेंसी सुधार गृह में बंद है. अधिकारियों ने बताया कि कोलकाता पुलिस के पूर्व नागरिक स्वयंसेवक संजय को बाद में सिलाई, बढ़ई या एल्यूमीनियम के बर्तन बनाने के काम सिखाया जा सकता है.
प्रेसिडेंसी सुधार गृह के अधिकारी ने बताया कि अकुशल श्रमिक के तौर पर दोषी को 105 रुपये प्रतिदिन की मजदूरी दी जायेगी. कोलकाता की एक अदालत ने सोमवार को संजय राय को आजीवन कारावास की सजा सुनायी है. उसे पिछले वर्ष अगस्त में हुई घटना के लिए दोषी ठहराया गया था. अधिकारी ने बताया, “सुधार गृह में सभी कैदियों से कुछ न कुछ काम करवाया जाता है.संजय एक अकुशल व्यक्ति है, लेकिन हमें उसे ऐसे काम में लगाना है, जिसमें कड़ी मेहनत की आवश्यकता होती है. इसलिए, फिलहाल उसे बागवानी में लगाया जा सकता है. वह एक या दो दिन में काम शुरू कर देगा.” संजय रसोई में भी काम कर सकता है. उन्होंने बताया, “अगर वह खाना नहीं बना सकता है तो उसे खाना परोसने और बर्तन साफ करने के लिए कहा जायेगा. काम का आवंटन हर दिन सुबह या सप्ताह की शुरुआत में किया जाता है.”
अधिकारी ने बताया कि प्रेसिडेंसी सुधार गृह में कैदियों द्वारा किये जाने वाले कार्यों के लिए कुछ कौशल की आवश्यकता होती है और इसलिए संजय को प्रशिक्षण की आवश्यकता होगी. उन्होंने बताया कि जैसा कि अन्य लोगों के साथ किया जाता है, सुधार गृह के अधिकारी एक ‘नोटबुक’ रखेंगे, जिसमें उसकी गतिविधियों को दर्ज किया जायेगा.राज्य सुधार गृह विभाग के बनाये खाते में डाले जायेंगे संजय के मेहनताना के पैसे
प्रेसिडेंसी सुधार गृह के अधिकारी ने बताया कि संजय राय को मेहनताना के मद में जो पैसे मिलेंगे, उसे राज्य सुधार गृह विभाग द्वारा बनाये गये खाते में डाल दिया जायेगा. अकुशल श्रमिक को जहां 105 रुपये प्रतिदिन मजदूरी मिलती है, वहीं अर्ध-कुशल और कुशल कैदी को क्रमशः 120 रुपये और 135 रुपये प्रतिदिन मजदूरी दी जाती है.
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