मैनहोल के छिद्र की मरम्मत के कार्य में जुटा मेट्रो
पार्क स्ट्रीट मेट्रो स्टेशन के पास स्थित मेट्रो स्टेशन के डायफ्राम की दीवार से लगे मैनहोल के छिद्र की मरम्मत का कार्य शुरू कर दिया गया है.
संवाददाता, कोलकाता
22 मई को चक्रवाती तूफान रेमाल के दौरान कोलकाता में जोरदार बारिश हुई थी. भारी बारिश में महानगर के विभिन्न इलाकों जलमग्न हो गये. लेकिन यह पहला मौका था कि जब कोलकाता मेट्रो सुरंग में भी पानी घर गया. मेट्रो सुरंग के सबवे के साथ ही बारिश का पानी मेट्रो की पटरियों पर भी बहने लगा. बारिश के पानी पटरियों पर भरने की खबर मिलते ही मेट्रो अधिकारियों के हाथ-पाव फुल गये. हालांकि मेट्रो रेलवे ने इस समस्या से निपटने के लिए कार्य शुरू कर दिया है. मिली जानकारी के अनुसार पार्क स्ट्रीट मेट्रो स्टेशन के पास स्थित मेट्रो स्टेशन के डायफ्राम की दीवार से लगे मैनहोल के छिद्र की मरम्मत का कार्य शुरू कर दिया गया है. 25 मई से शुरू हुए मरम्मत कार्य में अब तक डायाफ्राम दीवार के अंदर 111 बैग सीमेंट को इंजेक्ट किया गया है.
मेट्रो द्वारा मिली जानकारी के अनुसार, मेट्रो रेलवे ने पार्क स्ट्रीट मेट्रो स्टेशन में पानी के प्रवेश के स्रोत का पता लगाने के लिए 10 जून को कोलकाता नगर निगम (केएमसी) के अधिकारियों के साथ एक संयुक्त निरीक्षण किया था. मेट्रो रेलवे का कहना है कि निरीक्षण में पाया गया कि कोलकाता नगर निगम का 100 साल पुराना ईंट से बना सीवर, गाद से भर गया हुआ है, मैनहोल से लगे ईंट से बने सीवर की दीवार में तीन बड़े छेद हैं. मेट्रो रेलवे ने निगम के इंजीनियरों से गाद से भरे सीवर को साफ करने का आग्रह किया है, ताकि पानी आसानी से निकल सके और दीवार की मरम्मत की जा सके.
मेट्रो रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी कौशिक मित्रा ने कहा कि मेट्रो रेलवे की सर्वोच्च प्राथमिकता यात्रियों को बेहतर सुविधा सुनिश्चित करना है. जरूरत पड़ने पर केएमसी के ईंट सीवर के छिद्रों को बंद करने में हम केएमसी की मदद कर सकते हैं. सुरंग की दीवार से रिसाव को रोकने के लिए, मेट्रो रेलवे ने उन स्थानों की मरम्मत शुरू कर दी है. उल्लेखनीय है कि 22 मई को बारिश का पानी पार्क स्ट्रीट मेट्रो स्टेशन और एस्प्लेनेड स्टेशनों के बीच पटरियों पर भर गया था. बारिश का पानी पार्क स्ट्रीट मेट्रो स्टेशन के गेट नंबर तीन के अंदर डायाफ्राम वॉल से रिस रहा था. हालांकि यह रिसाव असामान्य था. उस दिन भारी वर्षा के दौरान, मेट्रो अधिकारियों ने कहा था कि डी-वॉल के पास केएमसी का विशाल सीवर है. मेट्रो के इंजीनियरों ने केएमसी सीवर डाई डालकर बारिश के पानी का रिसाव रोका.
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