जलपाईगुड़ी: हाथीनाला को लेकर प्रशासनिक बैठक
जलपाईगुड़ी : आखिर में हाथीनाला के संकट को लेकर आंदोलन की खबर छपने के बाद रंग लायी. उसके बाद ही रविवार को सिंचाई विभाग के बंगलो में संबद्ध पक्षों को लेकर बैठक की गयी. हालांकि इस दौरान ऑयल इंडिया का कोई प्रतिनिधि बैठक में उपस्थित नहीं हुआ. इस कारण से बैठक में किसी तरह का […]
जलपाईगुड़ी : आखिर में हाथीनाला के संकट को लेकर आंदोलन की खबर छपने के बाद रंग लायी. उसके बाद ही रविवार को सिंचाई विभाग के बंगलो में संबद्ध पक्षों को लेकर बैठक की गयी. हालांकि इस दौरान ऑयल इंडिया का कोई प्रतिनिधि बैठक में उपस्थित नहीं हुआ. इस कारण से बैठक में किसी तरह का निर्णय नहीं लिया जा सका.
बाद में अधिकारियों ने हाथीनाला का मौके पर जाकर निरीक्षण किया. उल्लेखनीय है कि हाथीनाला से होने वाली बेमौसम बाढ़ की चपेट में आने से प्रभावित लोगों ने शनिवार को रेल व सड़क अवरोध किया था. मौके पर पहुंची जीआरपी और आरपीएफ के जवानों के अलावा बानरहाट थाना पुलिस तक अवरोध हटाने में कामयाब नहीं रही.
बाद में जलपाईगुड़ी सदर एसडीओ और बीडीओ के मौके पर पहुंचने के बाद उनके आश्वासन पर आंदोलनकारियों ने अवरोध हटाया. उल्लेखनीय है कि डुवार्स के बानरहाट क्षेत्र से बहने वाले हाथीनाला कैनाल से पिछले चार साल से बिन्नागुड़ी और बानरहाट क्षेत्र जलमग्न हो जाता है. इस साल भी विगत 14 जून और चार जुलाई को इलाका जलमग्न हुआ था.
उसके बाद से ही प्रभावित लोग आंदोलन का मन बनाने लगे थे. उस समय महकमा सिंचाई अधिकारी सुव्रत सुर ने बताया था कि हाथीनाला के समीप रेल की जमीन है. वहां ऑयल इंडिया का पाइपलाइन बिछाया गया है. वहां काम करने के लिये रेलवे और ऑयल इंडिया के अनुमोदन की जरूरत है.
आज सिंचाई विभाग के कार्यकारी इंजीनियर जेपी पांडेय ने बताया कि प्रोजेक्ट तैयार कर समस्या का समाधान करने का प्रयास किया जायेगा. वहीं, इंडियन ऑयल कारपोरेशन के अधिकारी एसके बसुमतारी ने बताया कि हाथीनाला की पूरी जमीन रेलवे की है. वहां तेल का केवल पाइपलाइन बिछाया गया है.
हालांकि आज की बैठक में ऑयल इंडिया का कोई प्रतिनिधि मौजूद नहीं था. आज की बैठक में केवल सिंचाई विभाग के अधिकारी जेपी पांडेय और इंडियन ऑयल के अधिकारी एसके बसुमतारी की उपस्थिति रही.