जलपाईगुड़ी : मानवाधिकार कार्यकर्ताओं की गिरफ्तारी के खिलाफ अनशन

जलपाईगुड़ी : महाराष्ट्र सरकार द्वारा शहरी माओवादी होने का आरोप लगाकर पांच मानवाधिकार कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार किया था. सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर फिलहाल उन सभी को उनके निवास में ही नजरबंद रखा गया है. इसके प्रतिवाद में सोमवार को जलपाईगुड़ी केन्द्रीय कारागार में विचाराधीन माओवादी और केएलओ समर्थक बंदियों ने एक दिन का सांकेतिक […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 4, 2018 9:01 AM
जलपाईगुड़ी : महाराष्ट्र सरकार द्वारा शहरी माओवादी होने का आरोप लगाकर पांच मानवाधिकार कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार किया था. सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर फिलहाल उन सभी को उनके निवास में ही नजरबंद रखा गया है.
इसके प्रतिवाद में सोमवार को जलपाईगुड़ी केन्द्रीय कारागार में विचाराधीन माओवादी और केएलओ समर्थक बंदियों ने एक दिन का सांकेतिक अनशन किया. आंदोलनरत बंदियों में शामिल हैं राजा सरखेल, फागुन मुर्मू, शंभु सोरेन (माओवादी) और केएलओ बंदी मलखान सिंह.
राजनैतिक बंदी मुक्ति कमेटी के उत्तरबंग संयोजक सरोज घोष ने आरोप लगाया कि इन बंदियों के आंदोलन के संदेश को कमेटी कारा प्रशासन के मार्फत महाराष्ट्र सरकार को ज्ञापन देना चाहती थी. हालांकि कारा प्रशासन ने इस अनुरोध को कबूल नहीं किया. उन्होंने कहा कि पुणे की पुलिस ने अन्यायपूर्वक पांचों मानवाधिकार कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर रखा है. ये सभी सामाजिक और मानवाधिकार कार्यकर्ता हैं.
इन सभी की बिना शर्त रिहाई की मांग को लेकर कमेटी ने ज्ञापन सौंपना चाहा था. इसी मांग को लेकर विचाराधीन बंदियों ने भी एकदिवसीय सांकेतिक अनशन शुरू किया है. वहीं कारा प्रशासन के सूत्र ने बताया कि पूर्व निर्धारित अनुमति के बिना ज्ञापन सौंपने का प्रयास किया गया जिसे उन्होंने इंकार कर दिया.

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