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सिलीगुड़ी : भारतीय सेना के त्रिशक्ति कोर ने अनोखे अंदाज में तीसरा वेटरेन्स दिवस का पालन किया. पूर्व सैन्य कर्मियों के सम्मान में आयोजित कार्यक्रम में पेंशन व अन्य सुविधाओं से जुड़ी जानकारियां प्रदान की गयी. अपने दिगज्जों की सेवा में हमेशा नतमस्तक रहने का आश्वासन त्रिशक्ति कोर के जीओसी लेफ्टिनेंट जनरल सीपी मोहंती ने […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | January 15, 2019 5:46 AM
सिलीगुड़ी : भारतीय सेना के त्रिशक्ति कोर ने अनोखे अंदाज में तीसरा वेटरेन्स दिवस का पालन किया. पूर्व सैन्य कर्मियों के सम्मान में आयोजित कार्यक्रम में पेंशन व अन्य सुविधाओं से जुड़ी जानकारियां प्रदान की गयी. अपने दिगज्जों की सेवा में हमेशा नतमस्तक रहने का आश्वासन त्रिशक्ति कोर के जीओसी लेफ्टिनेंट जनरल सीपी मोहंती ने दिया.
प्रत्येक वर्ष की भांति इस बार भी भारतीय सेना के त्रिशक्ति कोर की ओर से सुकना छावनी स्थित मेजर ध्यानचंद मेमोरियल स्टेडियम में वेटरेन्स के सम्मान में कार्यक्रम का आयोजन किया गया.
आज के इस कार्यक्रम में भारतीय फौज के पूर्व अधिकारी,जवान व उनका परिवार काफी संख्या में उपस्थित हुए. तिरंगे को सलामी देकर शुरू हुए कार्यक्रम में सर्वप्रथम देश सेवा के दौरान शहीद हुए जवानों को श्रद्धांजलि दी गयी और उनके परिवार को सम्मानित किया गया.
पड़ोसी देश श्रीलंका में भारतीय फौज के ऑपरेशन पवन के दौरान 19 जनवरी 1989 को शहीद हुए 7/8 गोरखा रायफल्स के शहीद एनके सुमन राई की पत्नी नीरम थुलुंग, 26 मार्च 1995 को भारत-पाक सीमांत जम्मू-कश्मीर के बारामुल्ला में हुयी आतंकी मूठभेड़ में शहीद हुए अमस रेजिमेंट के सूबेदार टीबी छेत्री की पत्नी प्रभा छेत्री सहित अन्य पांच वीर महिलाओं को त्रिशक्ति कोर के जीओसी लेफ्टिनेंट जनरल सीपी मोहंती ने सम्मानित किया. तीसरे वेटरेन्स दिवस पर बांग्लादेश के आजादी की लड़ाई में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले वेटरेन्स कर्नल एमके गहतराज, कर्नल वीरेन जैन सहित साढ़े पांच सौ दिग्गज उपस्थित हुए थे.
भारतीय फौज में अपना अहम योगदान देने वाले वेटरेन्स के सम्मान में कई रंगारंग कार्यक्रम भी हुआ. फौज के जवानों ने घुड़सवारी के माध्यम के जंपिंग शो व भारतीय फौज की परंपरा में बरकरार अन्य करतब भी दिखाये. सिक्किम स्काउट्स ने मार्शल आर्ट के जरिए आकर्षक करतब दिखाया.
इसके अतिरिक्त फौज के जवानों से पंजाब का विख्यात लोक नृत्य भांगड़ा, छत्रपति शिवाजी के युद्ध विजय का परिचायक महाराष्ट्र का विशेष लोक नृत्य झांझ पटक, खच्चर के साथ फौज के जवानों का तालमेल भरा करतब आदि कार्यक्रम का विशेष आकर्षण रहा.
त्रिशक्ति कोर के कर्नल विक्रम दुबे ने वेटरेन्स व विकलांग सैन्य कर्मियों व उनके परिवार को मिलने वाली पेंशन, परिवार के सदस्यों को मिलने वाली शिक्षा, होस्टल आदि सुविधाओं की जानकारी दी. वहीं वेटरेन्स हेल्थ सर्विस विभाग के निदेशक कर्नल के विवेक ने स्वास्थ सेवा में मिलने वाली सुविधाओं से अवगत कराया. अपने संबोधन में त्रिशक्ति कोर के जीओसी लेफ्टिनेंट जनरल सीपी मोहंती ने वेटरेन्स को फौज का भविष्य बताया.
अपने कार्यकाल में भारतीय फौज में अहम योगदान देने वाले सभी वेटरेन्स व शहीदो को नमन करते हुए उन्होंने कहा कि आपके (वेटरेन्स) मार्गदर्शन, त्याग व बलिदान की वजह से ही भारतीय फौज ने विश्व में अपना परचम लहराया है. वेटरेन्स के योगदानों को फौज हमेशा याद रखेगी व उनके सम्मान व सेवा में हमेशा हम नतमस्तक रहेगें.
वेटरेन्स की वजह से आज हम हैं और उनका ख्याल रखना हमारी जिम्मेदारी है. भारतीय फौज वेटरेन्स व शहीदों के परिवार की खुशहाली व दुख-दर्द का साथी रहेगी. उन्होंने गर्व जताते हुए कहा कि भारतीय फौज विश्व में सबसे बेहतर ढंग से अपने वेटरेन्स व उनके परिवार की देखभाल करती है.

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