42 डिग्री सेल्सियस में भी लोगों ने किया मतदान
विधानसभा : मालदा : जिले के हबीबपुर विधानसभा उपचुनाव के लिए रविवार को मतदान छिटपुट घटनाओं को छोड़कर शांतिपूर्ण रहा. रविवार को प्रचंड गर्मी के बीच लोगों ने अपने बूथों में कतार में लगकर मतदान किया. शाम पांच बजे तक हबीबपुर विस सीट पर लगभग 71.60 प्रतिशत मतदान हुआ. उल्लेखनीय है कि किसी भी दल […]
विधानसभा : मालदा : जिले के हबीबपुर विधानसभा उपचुनाव के लिए रविवार को मतदान छिटपुट घटनाओं को छोड़कर शांतिपूर्ण रहा. रविवार को प्रचंड गर्मी के बीच लोगों ने अपने बूथों में कतार में लगकर मतदान किया. शाम पांच बजे तक हबीबपुर विस सीट पर लगभग 71.60 प्रतिशत मतदान हुआ. उल्लेखनीय है कि किसी भी दल ने मतदान को लेकर कोई शिकायत दर्ज नहीं करायी है. हर बूथ पर केंद्रीय सुरक्षा बल के जवान तैनात रहे.
सुबह बुलबुलचंडी में एक टोटो में दलीय झंडा लगाने को लेकर विवाद खड़ा हो गया. आरोप लगा कि तृणमूल कांग्रेस वोटरों को प्रभावित करने की कोशिश कर रही है. शिकायत के बाद झंडे खोल लिये गये. वहीं, टोटो चालक का कहना था कि उसे वोटरों को बूथ तक पहुंचाने के लिए 700 रुपये दिये गये थे. हालांकि इस खबर को भी तृणमूल के स्थानीय नेतृत्व ने खारिज कर दिया. दल के पक्ष से हेमंत शर्मा ने बताया कि मतदान शांतिपूर्ण रहा. इस बार हम लोग अमल किस्कू को जिता रहे हैं.
उनका मंत्री बनना तय है. वहीं, आज के मतदान के दौरान कहीं से भी कांग्रेस के कार्यकर्ता नहीं दिखे. दलीय नेतृत्व का कहना है कि कार्यकर्ता जहां तहां गर्मी के चलते बिखरे थे. इसलिए नहीं दिखायी दिये. माकपा के पक्ष से भी कहा गया है कि गर्मी के चलते उपचुनाव नहीं कराया जाता तो बेहतर होता. भाजपा जिलाध्यक्ष संजीत मिश्र ने बताया कि मतदान शांतिपूर्ण रहा है.
कहीं से किसी तरह की शिकायत नहीं मिली है. केवल बुलबुलचंडी में वोटरों को प्रभावित करने का प्रयास किया गया था. चुनाव आयोग ने कार्रवाई की है. केंद्रीय बलों के चलते ही मतदान शांतिपूर्ण रूप से हुआ. कांग्रेस कार्यकर्ताओं के नहीं दिखायी देने के सवाल पर जिला कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष कालीसाधन राय ने बताया कि यह बात सही नहीं है.
दरअसल, प्रचंड गर्मी के चलते कार्यकर्ता जहां तहां बिखरे हुए थे जिससे वे नजर में नहीं आये. कांग्रेस यह उपचुनाव अपनी सांगठनिक मजबूती की थाह लेने के लिये लड़ रही है. वहीं, माकपा के जिला सचिव अंबर मित्र ने बताया कि मतदान शांतिपूर्ण रहा. हालांकि इस तेज गर्मी में उपचुनाव नहीं होता तो ही बेहतर था. गर्मी के चलते बहुत से वोटर बूथों तक नहीं पहुंच सके हैं. इसके बावजूद हम लोग आशावादी हैं.