बंगाल को तोड़ने में जुटी हैं राज्य व केंद्र सरकारें

सिलीगुड़ी: राज्य और केंद्र सरकार तुष्टिकरण की राजनीति कर रही है. बंगाल के हित-अहित से उसे कोई लेना-देना नहीं है. गोरखालैंड अलग राज्य की मांग असंवैधानिक है. अलग राज्य की मांग को लेकर जो 72 घंटे का बंद बुलाया गया है. उसका हम विरोध करते है यह कहना है आमरा बांगाली, केंद्रीय कमेटी के सदस्य […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 30, 2013 6:20 AM

सिलीगुड़ी: राज्य और केंद्र सरकार तुष्टिकरण की राजनीति कर रही है. बंगाल के हित-अहित से उसे कोई लेना-देना नहीं है. गोरखालैंड अलग राज्य की मांग असंवैधानिक है.

अलग राज्य की मांग को लेकर जो 72 घंटे का बंद बुलाया गया है. उसका हम विरोध करते है यह कहना है आमरा बांगाली, केंद्रीय कमेटी के सदस्य शंभु सूत्रधर का. वह सोमवार को बंद के विरोध में पत्रकारों को संबोधित कर रहे थे.

कमेटी के अध्यक्ष खुशी रंजन ने बताया कि 1982 से अलग गोरखालैंड की मांग हो रही है. लेकिन केंद्र और राज्य सरकारें इसे अनुचित ठहराने के बाद उसके सामने घुटने टेकती हैं. 1950 के भारत-नेपाल संधि का उल्लंघन हो रहा है. श्यामल सेन कमेटी के सिफारिश की अवहेलना की जा रही है. कलकत्ता उच्च न्यायालय में मामला लंबित है, लेकिन केवल हमें तारीख पर तारीख मिल रही है.

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