अवैध उत्खनन में लगे 70 ट्रकों को ग्रामीणों ने रोका
जलपाईगुड़ी: हाइकोर्ट का निर्देश है कि नदी से पत्थर, बालू का उत्खनन बंद रखा जाये, लेकिन दूसरे जिलों के परमिट पर डुवार्स में अवैध उत्खनन चालू है. नदी के पाट में जेसीबी मशीनें लगाकर पत्थर, बालू निकाला जा रहा है जिसकी वजह से नदी के पाट में बड़े-बड़े गड्ढे बन गये हैं. इसकी वजह से […]
जलपाईगुड़ी: हाइकोर्ट का निर्देश है कि नदी से पत्थर, बालू का उत्खनन बंद रखा जाये, लेकिन दूसरे जिलों के परमिट पर डुवार्स में अवैध उत्खनन चालू है. नदी के पाट में जेसीबी मशीनें लगाकर पत्थर, बालू निकाला जा रहा है जिसकी वजह से नदी के पाट में बड़े-बड़े गड्ढे बन गये हैं. इसकी वजह से आसपास के इलाकों की खेती प्रभावित हो रही है.
यह आरोप लगाते हुए स्थानीय लोगों ने नागराकाटा की गठिया नदी से बालू-पत्थर लादनेवाले 70 ट्रकों को रोक लिया. गोरखालैंड टेरीटोरियल एडमिनिस्ट्रेशन (जीटीए) और सिंचाई विभाग के हस्ताक्षर वाला खनन परमिट लेकर कालिम्पोंग के बहुत से ट्रक मालिक जलपाईगुड़ी के माल महकमा के नागराकाटा ब्लॉक की गठिया नदी से गैरकानूनी तरीके से बालू-पत्थर का लगातार उत्खनन कर रहे हैं. आरोप है कि दूसरे जिले के परमिट से खुदाई करके राजस्व की चोरी भी की जा रही है.
बुधवार को गठिया नदी से लगे छाड़ टंडू गांव के कई सौ लोगों ने गठिया नदी से बालू-पत्थर उठाये 70 ट्रकों का घेराव कर उन्हें रोक लिया. संजीव राय नामक एक स्थानीय आंदोलनकारी ने आरोप लगाया, बीते दो महीनों से हम लोग सुन रहे हैं कि अदालत के निर्देश पर उत्खनन का परमिट देना बंद है. लेकिन अचानक पिछले तीन दिनों से कुछ बाहरी ट्रकों ने नदी से उत्खनन शुरू कर दिया है. नदी में जेसीबी मशीनें उतारकर बड़े-बड़े गड्ढे खोदकर बालू-पत्थर निकाला जा रहा है. इसकी वजह से नदी का पानी बीच में ही सिमट कर रह गया है. किनारे पर पानी नहीं आने के कारण पानी को खेतों तक लाना मुश्किल हो गया है. इससे किसानों को भारी नुकसान हो रहा है. ग्रामीणों ने कहा कि इस तरह से नदी में उत्खनन नहीं होने दिया जायेगा, इसलिए हम लोगों ने इन ट्रकों को सुबह आठ बजे से दोपहर तक रोककर रखा.
ट्रक चालक जो परमिट दिखा रहे हैं उसमें जीटीए और सिंचाई विभाग के सहायक इंजीनियर का नाम है. चालकों का कहना है कि वे अपने मालिकों के कहने पर यहां आये हैं. ट्रकों को रोके जाने की खबर पाकर नागराकाटा थाने की पुलिस मौके पर पहुंची.
इधर नागराकाटा थाने की पुलिस पांच ट्रकों को अपने कब्जे में लेकर थाने ले आयी. पुलिस ने जीटीए से जारी परमिट स्लिप को भी जब्त किया है. पुलिस चालक और खलासी से पूछताछ कर रही है. इसके अलावा भूटान नंबर के कुछ ट्रकों को भी गठिया नदी से गैरकानूनी तरीके से बालू-पत्थर उठाते देखा गया है. सवाल उठ रहा है कि दूसरे देश का ट्रक कैसे यहां से पत्थर-बालू उठा सकता है.
इस बारे में जलपाईगुड़ी के बानारहाट सिंचाई डिवीजन के एसडीओ तपनज्योति राहा ने बताया, जीटीए के अधीन सिंचाई विभाग के मामले में कुछ करना उनके अधिकार क्षेत्र में नहीं है. सिंचाई विभाग के उत्तर-पूर्व कार्यालय के अधीन जलपाईगुड़ी, अलीपुरद्वार, कूचबिहार जिलों के अलावा सिलीगुड़ी महकमे में ग्रीन बेंच के निर्देश पर इस तरह का परमिट जारी करना बंद है. गठिया से उत्खनन का कार्य पूरी तरह गैरकानूनी है. दूसरे जिले का परमिट लेकर और राजस्व देकर, अन्य जिले में इस तरह से बालू-पत्थर का खनन करना कानूनी नहीं है. इस बारे में सिंचाई विभाग के उच्च अधिकारियों को जानकारी दी गयी है.