न्यूनतम मजदूरी के लिए चाय श्रमिकों का फूटा गुस्सा

लेबर कमिश्नर के दफ्तर के सामने किया विरोध प्रदर्शन हक और अधिकार लेने का श्रमिकों ने लिया संकल्प सिलीगुड़ी : न्यूनतम मजदूरी निर्धारित करने के लिए सोमवार को एकबार फिर चाय बागान श्रमिकों का गुस्सा फूट पड़ा. न्यूनतम मजदूरी को लेकर सरकारी उदासीनता, मालिकों द्वारा शोषण और अत्याचार के विरूद्ध श्रमिकों ने जहां आवाज बुलंद […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 18, 2017 7:56 AM
लेबर कमिश्नर के दफ्तर के सामने किया विरोध प्रदर्शन
हक और अधिकार लेने का श्रमिकों ने लिया संकल्प
सिलीगुड़ी : न्यूनतम मजदूरी निर्धारित करने के लिए सोमवार को एकबार फिर चाय बागान श्रमिकों का गुस्सा फूट पड़ा. न्यूनतम मजदूरी को लेकर सरकारी उदासीनता, मालिकों द्वारा शोषण और अत्याचार के विरूद्ध श्रमिकों ने जहां आवाज बुलंद किया वहीं, सामाजिक सुरक्षा और विकास जोरदार नारा भी लगाया. मौका था विभिन्न राजनैतिक दलों के श्रमिक संगठनों के संयुक्त मंच (ज्वाइंट फोरम) के बैनर तले आयोजित राज्य सरकार के विरूद्ध आंदोलन का. ज्वाइंट फोरम के आह्वान पर आज तराइ-डुवार्स के चाय बागानों से हजारों के तादाद में श्रमिकों ने सिलीगुड़ी में ज्वाइंट लेबर कमिश्नर के दफ्तर के सामने जोरदार तरीके से विरोध प्रदर्शन किया.
ज्वाइंट लेबर कमिश्नर के दफ्तर के सामने घंटों नारेबाजी की. प्रदर्शनकारियों का कहना है कि चाय श्रमिकों को न्यूनतम मजदूरी निर्धारित करने को लेकर पक्षपात की राजनीति हो रही है जो उचित नहीं है. ममता सरकार मालिक पक्ष के साथ सांठगांठ कर श्रमिकों का हक छिन रही है. साथ ही बंद चाय बागानों को खुलवाने में भी गंदी राजनीति कर रही है. श्री पाठक का कहना है कि श्रमिकों के लिए न्यूनतम मजदूरी तय करना जरूरी है. श्रमिकों को दिये जा रहे राशन के बदले दैनिक भत्ता का भुगतान करना होगा, श्रमिकों को बागानों में ही जमीन का पट्टा व आवास का उत्तम प्रबंध करना होगा.

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