केंद्रीय बलों की तैनाती को लेकर विशेष पर्यवेक्षकों की बैठक आज
राज्य में 19 अप्रैल को लोकसभा चुनाव को लेकर पहले चरण का मतदान होगा
शुक्रवार को जनरल ऑब्जर्वर ने सीइओ के साथ की मीटिंग
कोलकाता. राज्य में 19 अप्रैल को लोकसभा चुनाव को लेकर पहले चरण का मतदान होगा. हालांकि चुनाव से पहले राज्य में पर्याप्त संख्या में केंद्रीय बल की टीम नहीं पहुंची है. राज्य में अब तक सिर्फ 177 कंपनियां ही पहुंची हैं. उधर, सूत्रों के मुताबिक पहले चरण के मतदान को लेकर कई राज्यों से केंद्रीय बलों की मांग को लेकर चुनाव आयोग को पत्र भी भेजा गया है. प्रत्येक राज्य को केंद्रीय बल कैसे उपलब्ध कराये जायें, इस पर चुनाव आयोग के अधिकारी दिल्ली में बैठक कर चुके हैं. इस बीच, आयोग के पुलिस पर्यवेक्षक अनिल कुमार शर्मा कोलकाता पहुंच चुके हैं. वहीं, शनिवार को पुलिस पर्यवेक्षक अनिल शर्मा और जनरल ऑब्जर्वर आलोक सिन्हा बैठक करेंगे. बैठक से पहले जनरल ऑब्जर्वर ने शुक्रवार को राज्य के मुख्य निर्वाचन अधिकारी (सीइओ) डॉ आरिज आफताब सहित अन्य अधिकारियों के साथ बैठक की. बैठक में प्रथम व दूसरे चरण के मतदान की तैयारियों पर चर्चा हुई. विशेष सामान्य पर्यवेक्षक आलोक सिन्हा ने राज्य के पंचायत चुनाव से सीख लेते हुए उन जगहों की जानकारी मांगी है, जहां पंचायत चुनाव के दौरान अशांति हुई थी. उन्होंने कहा : उन्हें डर है कि इन सभी जगहों पर फिर से अशांति या भ्रम की स्थिति पैदा हो सकती है. निष्पक्ष, स्वतंत्र और शांतिपूर्ण मतदान सुनिश्चित करने के लिए हर संभव उपाय किये जायें. संवेदनशील बूथों पर भी शांति रहे, इसकी व्यवस्था की जाये. उन्होंने इसके लिए सभी जरूरी कदम उठाने को कहा. आलोक सिन्हा ने कहा : यह सुनिश्चित की जाये कि कोई भी मतदाता बिना वोट किये वापस न लौटे. उन्होंने कहा कि चुनाव के दौरान हर बूथ पर पर्याप्त संख्या में केंद्रीय बल के जवान तैनात रहेंगे. केंद्रीय बालों के तैनाती को लेकर बैठक आज :जानकारी के अनुसार, केंद्रीय बलों की तैनाती को लेकर शनिवार को बीएसएफ गेस्ट हाउस में अहम बैठक होगी. बैठक में विशेष पुलिस निरीक्षक अनिल कुमार शर्मा, आइजी सीआरपीएफ बीके शर्मा, राज्य पुलिस के नोडल पदाधिकारी आनंद कुमार के साथ राज्य के मुख्य निर्वाचन अधिकारी (सीइओ) डॉ आरिज आफताब और उनके पदाधिकारी शामिल होंगे. बैठक में केंद्रीय बलों की तैनाती समेत पहले दौर के चुनाव के समग्र प्रबंधन पर चर्चा होगी. केंद्रीय बल की अंतिम रूपरेखा 10 अप्रैल को पहले चरण के तीनों लोकसभा क्षेत्रों के जिला निर्वाचन पदाधिकारी और पुलिस प्रशासन के साथ बैठक के बाद तय की जायेगी. हालांकि, चुनाव आयोग की ओर से हर बूथ पर केंद्रीय बल तैनात करने की कोशिश की जा रही है. पहले चरण के मतदान में देशभर की 102 लोकसभा सीटों पर चुनाव हो रहे हैं, इसलिए चुनाव आयोग के सूत्रों के मुताबिक पहले दौर में केंद्रीय बलों की संख्या राज्य में कुछ कम रह सकती है. बैठक में राज्य के संवेदनशील बूथों पर भी चर्चा होगी.हाल ही में मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, महाराष्ट्र व जम्मू-कश्मीर से चुनाव आयोग को पत्र लिखा गया है. ये राज्य भी केंद्रीय बल की निगरानी में वोट कराना चाहते हैं. चूंकि पूरे देश में एक साथ वोटिंग होगी और पहले दौर की वोटिंग अप्रैल में ही है, ऐसे में केंद्रीय बलों के तैनाती को लेकर संशय बरकरार है.
हर बूथ पर वेब कास्टिंग :शुक्रवार की बैठक में चुनाव आयोग की ओर से राज्य के हर बूथ पर वेब कास्टिंग कराये जाने का निर्णय लिया गया. इनमें अधिक संवेदनशील बूथों पर विशेष ध्यान दिया गया. 19 अप्रैल को 5,814 बूथों पर वोटिंग होनी है. जानकारों का कहना है कि अगर हर बूथ पर सेंट्रल फोर्स दी जाये, तो 3500 कंपनी केंद्रीय बल की जरूरत होगी.