कोलकाता. नदिया के पलाशी इलाके में एक महिला की जमीन पर कब्जा कर तृणमूल का पार्टी कार्यालय बनाने के एक मामले में सोमवार को सुनवाई करते हुए हाइकोर्ट की न्यायाधीश अमृता सिन्हा ने 20 दिनों के अंदर वहां से कार्यालय हटाने और महिला को जमीन वापस करने का फैसला सुनाया. न्यायाधीश ने यह जिम्मेदारी स्थानीय बीएलएलआरओ को दी है. साथ ही कोर्ट ने यह भी जानना चाहा है कि किसकी इजाजत से वहां पार्टी कार्यालय बनाया गया? इसकी भी रिपोर्ट कोर्ट में पेश करनी होगी. मामले की अगली सुनवाई तीन जुलाई को होगी. याचिकाकर्ता के वकील तन्मय बसु ने कहा कि अनुश्री घोष चौधरी ने एक दुकान बनाने के लिए जमीन खरीदी थी, लेकिन बाद में उस पर कब्जा कर लिया गया. तृणमूल कार्यकर्ताओं ने वहां जबरन पार्टी कार्यालय बना लिया. पीड़िता ने इसकी शिकायत पंचायत और जिला परिषद से की थी, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई. जमीन खाली करने के लिए 20 लाख रुपये की मांग की गयी थी.
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