वानाक्राइ मालवेयर से बचने के ये 10 तरीके जरनते हैं आप…?

1. वानाक्राइ ने बिना अपटेड विंडोज के जरिये बिजनेस नेटवर्क को अपना निशाना बनाया है. घर में विंडोज इस्तेमाल करनेवालों को इसका खतरा नहीं होगा. 2. ऑफिस या इंस्टीट्यूट, जो भी इस रैनसमवेयर की चपेट में आये हैं और जिनके पास अनलॉक की गयी फाइलों का बैकअप कंप्यूटर से अलग किसी ड्राइव में नहीं है, […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 7, 2017 12:57 PM
1. वानाक्राइ ने बिना अपटेड विंडोज के जरिये बिजनेस नेटवर्क को अपना निशाना बनाया है. घर में विंडोज इस्तेमाल करनेवालों को इसका खतरा नहीं होगा.
2. ऑफिस या इंस्टीट्यूट, जो भी इस रैनसमवेयर की चपेट में आये हैं और जिनके पास अनलॉक की गयी फाइलों का बैकअप कंप्यूटर से अलग किसी ड्राइव में नहीं है, दुर्भाग्य से अब वे उन्हें खो चुके हैं. इसलिए फाइलों का किसी अलग ड्राइव या मशीन में बैकअप होना जरूरी होता है. अगर वानाक्राइ आपके कंप्यूटर में है, तो इसे हटाना संभव है, हालांकि यह प्रक्रिया सरल नहीं है.
3. एक टेक्निकल सपोर्ट वेबसाइट ब्लीपिंग कंप्यूटर के अनुसार, कंप्यूटर से इस वायरस को साफ करने के लिए कुछ प्रोग्राम डाउनलोड करने पड़ते हैं.
4. इंटरनेट पर गिफ्ट, ऑफर, पॉर्न वीडियो, गेमिंग आदि के लिंक के जरिये हैकर्स इस वायरस को कंप्यूटर में डाल कर सिस्टम को हैक कर लेते हैं. एक बार हैकिंग के बाद इससे छुटकारा पाना संभव नहीं है.
5. इस अटैक से बचने के लिए अपने ऑनलाइन अकाउंट के लिए ऐसे पासवर्ड बनाएं, जिन्हें आसानी से डिकोड न किया जा सके.
6. अगर आप पुराने विंडोज ऑपरेटिंग सिस्टम जैसे एक्सपी, 8 या विस्टा का उपयोग कर रहे हैं तो उसे अपडेट कर लें. माइक्रोसॉफ्ट ने विशेष सिक्योरिटी पैच जारी किये हैं.
7. सुरक्षा विशेषज्ञों का कहना है कि किसी भी तरह के मेल के साथ आनेवाले रार, जिप या इस तरह की कंप्रेस्ड फाइल को खोलने से पहले सुनिश्चित कर लें कि वे सही हैं. अनजाने मेल या लॉटरी से संबंधित मेल को खोलने की कोशिश न करें.
8. अपने सिस्टम में एंटी वायरस, एंटी फिशिंग, एंटी मालवेयर को तत्काल अपडेट कर लें.
9. जिस कंप्यूटर पर एक से ज्यादा यूजर बैठते हैं, उसका इस्तेमाल न करें. इसके अलावा पब्लिक वाइ-फाइ का कम से कम इस्तेमाल करें.
10. आमतौर पर कई मालवेयर आपके कंप्यूटर में गलत तरीके से घुस जाते हैं. इनका उद्देश्य या तो आपके कंप्यूटर के डाटा को चुराना होता है या फिर उसे मिटाना. लेकिन रैनसमवेयर आपके सिस्टम में आकर आपके डाटा को ‘इनक्रिप्ट’ यानी लॉक कर देता है. यूजर तब तक इसमें मौजूद डेटा तक नहीं पहुंच पाता जब तक कि वह इसे ‘अनलॉक’ करने के लिए रैनसम यानी फिरौती नहीं देता.

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