रख-रखाव के अभाव में रामगढ़ के मांडू FCI गोदाम में रखा 300 क्विंटल चावल हुआ खराब, कौन है जिम्मेवार?

jharkhand news: रख-रखाव के अभाव में रामगढ़ के मांडू स्थित FCI गोदाम में रखा चावल खराब हो गया. अनाज के बोरे में कीड़े लग गये. आलम तो यह है कि इस मामले को लेकर अधिकारी अंजान दिखे. वहीं, DSO ने भी इस मामले में फिलहाल कुछ बाेलने से बचते दिखे.

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 8, 2021 6:26 PM

Jharkhand news: रामगढ़ के मांडू FCI गोदाम में गरीबों के बीच बांटने वाला चावल गोदाम प्रबंधक की लापरवाही के कारण खराब हो गया है. रख-रखाव के अभाव में गोदाम के अंदर रखा अनाज कुछ सड़ गया है और कुछ सड़ने के कगार पर है. गोदाम प्रबंधक को मामले की जानकारी होने के बाद बुधवार को मशीन लगाकर चावल को चालने का काम किया गया. इसके बाद दोबारा सभी अनाज को बोरा में पैक कर गोदाम में रख दिया गया.

बताया जाता है कि बरसात के मौसम में करीब 900 क्विंटल चावल गोदाम परिसर में रखा गया था. लेकिन, गोदाम प्रबंधक को चावल खराब होने की भनक मिलते ही उन्होंने आनन-फानन में प्रखंड के कई डीलरों के दुकान में करीब 600 क्विंटल अनाज भेजकर मामले को रफा-दफा कर दिया. फिलहाल मांडू के एफसीआई गोदाम में करीब 300 क्विंटल खराब चावल पड़ा हुआ है. जिसे डीलरों के दुकान में खपाने की तैयारी चल रही है.

अधिकारी हैं अंजान

प्रखंड आपूर्ति पदाधिकारी उदय शंकर भी इस मामले के प्रति अंजान दिखे. उन्होंने कहा कि किसी भी डीलर द्वारा इसकी शिकायत नहीं की गई है. इसके बावजूद खुद गोदाम में जाकर जांच करने की बात कही. इधर, मांडू बीडीओ जयकुमार राम को मामले की जानकारी मिलते ही वे फौरन गोदाम पहुंचे, लेकिन गोदाम को बंद पाया.

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खाने लायक नहीं है अनाज

FCI गोदाम में रखा गया अनाज खाने लायक नहीं है. अनाज बोरे के अंदर जालीनुमा के साथ काफी संख्या में कीड़ा हो गया है. ऐसे में उपरोक्त चावल को पीडीएस डीलरों के बीच मुहैया कराया जाता है, तो गरीब लाभुक बीमारी के शिकार हो सकते हैं. सूत्रों के अनुसार, जो पीडीएस संचालक जानकारी के अभाव में उपरोक्त अनाज को अपने दुकान ले गये हैं, वो चावल की स्थिति देखकर इसे वापस करने की बात कह रहे हैं. लेकिन, विभागीय दबाव के कारण वैसे संचालकों को मन-मसोस कर रखना पड़ रहा है.

मामले की जांच करने के बाद कुछ कहा जायेगा : DSO

इस मामले को लेकर जिला आपूर्ति पदाधिकारी सुदर्शन मुर्मू से पूछा गया तो उन्होंने बताया कि मुझे मामले की जानकारी नहीं है. उन्होंने इसकी जांच करने के बाद कुछ ही बताने की बात कही.


रिपोर्ट: धनेश्वर प्रसाद/दीपक, मांडू, रामगढ.

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