मां-पिता का सिर से साया उठने के बाद दिव्यांग बच्चों की परवरिश हुई मुश्किल, लगाई मदद की गुहार
झारखंड के सरायकेला जिले के राजनगर प्रखंड में दो दिव्यांग बच्चों की परवरिश में परेशानी आ रही है. इनके माता-पिता नहीं हैं. ग्रामीणों ने प्रशासन से मदद का आग्रह किया है. इन्हें राशन के अलावा किसी सरकारी योजना का लाभ भी नहीं मिल रहा है.
Jharkhand News, सरायकेला न्यूज (प्रताप मिश्रा) : झारखंड के सरायकेला खरसावां जिले में सिर से मां-पिता का साया उठने के बाद दो दिव्यांग बच्चों की परवरिश मुश्किल हो गयी है. एक तो अनाथ, ऊपर से दिव्यांग. किसी तरह इनका पालन पोषण हो रहा है. ग्रामीणों ने प्रशासन से मदद की गुहार लगायी है.
चार वर्ष पूर्व मां छोड़कर कहीं चली गयी थी, वहीं पत्नी के छोड़कर चले जाने के कारण बच्चों के पिता का गम में दो वर्ष पूर्व निधन हो गया. अब ये बच्चे अनाथ हैं और उनका पालन पोषण मुश्किल हो गया है. ये दोनों बच्चे दिव्यांग हैं. सरायकेला के राजनगर प्रखंड के डांडु गांव निवासी दोनों बच्चे किशन टुडू (10 वर्ष) व उसकी बहन मायताला टुडू (8 वर्ष) दिव्यांग हैं. खानदान के लोग किसी तरह इनकी परवरिश कर रहे हैं.
सरकारी योजना के नाम पर सिर्फ इन्हें राशन मिलती है. भाजपा नेता रमेश हांसदा अपनी साइकिल यात्रा के दौरान इन बच्चों से मिले और पूरे मामले की जानकारी ली. भाई की एक आंख में रोशनी नहीं है, जबकि बहन बोल नहीं पाती है. साइकिल यात्रा के क्रम में गांव पहुंचे रमेश हांसदा को ग्रामीणों ने बताया कि जब ये काफी छोटे छोटे थे, तो इनकी मां इन्हें पिता के भरोसे छोड़कर कहीं चली गयी. जिसकी काफी खोजबीन की गयी, परंतु कहीं भी पता नहीं चला.
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पत्नी के जाने के गम में पिता कोंदा टुडू गुमशुम रहने लगा व दो वर्ष पूर्व इसका भी निधन हो गया. ग्रामीणों ने बताया कि दोनों बच्चों को सिर्फ राशन मिलती है और किसी प्रकार की सरकारी सहायता नहीं मिलती है. इनके पास दिव्यांग प्रमाण पत्र भी नहीं है, जिसके कारण सरकारी योजना का लाभ नहीं मिल पाता है. ग्रामीणों ने बताया कि दोनों बच्चों का समुचित इलाज हो तो दोनों की जिंदगी संवर सकती है. उन्होंने प्रशासन से मदद की गुहार लगायी है. सांसद प्रतिनिधि बिशु हेम्ब्रम व मोतीलाल गौड़ ने डान्दू गांव पहुंच कर दिव्यांग बच्चों से मुलाकात कर सूखा राशन उपलब्ध कराया.
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सरायकेला के जिला बाल संरक्षण पदाधिकारी संतोष ठाकुर ने कहा कि इन बच्चों के बारे में उन्हें सूचना नहीं थी. जल्द ही टीम दौरा कर बच्चों की समस्या से अवगत होगी और सरकारी योजनाओं से लाभान्वित किया जाएगा.
Posted By : Guru Swarup Mishra