इस राजा ने Rolls Royce की कार से कचरा ढुलवा कर लिया था अपमान का बदला, पढ़ें पूरी कहानी
राजा जय सिंह पहले ही की तरह शोरूम में बेधड़क घुस गए और शोरूम में घुसने के साथ ही उन्होंने बिना समय गंवाए ही रॉल्स रॉयस की कई गाड़ियों को खरीदने का ऑर्डर दे दिया. उनके इस ऑर्डर देखकर शोरूम के कर्मचारी भौंचक रह गए.
आज की डेट में करोड़ों रुपये में खरीदी बेची जाने वाली रॉल्स रॉयस से कचरा फेंकवनाने वाले राजस्थान के जिन राजा की हम बात कर रहे हैं, वे अलवर के राजा थे. उनका नाम राजा जय सिंह प्रभाकर था. अलवर के राजा जय सिंह ने ही अंग्रेजों से अपने अपमान का बदला लेने के लिए उस समय लाखों रुपये में बेची जाने वाली सबसे महंगी कार को खरीदकर उसमें कचरा भरकर फेंकवाया था.
अपमान का शाही बदला
मजे की बात यह है कि उन्होंने अपने अपमान का बदला लेने के लिए उस समय रॉल्स रॉयस नई कार खरीदी और फिर उसे कचरा ढोने में लगा दिया, क्योंकि उस समय अंग्रेजों के बीच रॉल्स रॉयस आन-बान और शान की सवारी मानी जाती थी. अब सवाल यह पैदा होता है कि आखिर अलवर के राजा जय सिंह के साथ ऐसा क्या हुआ था कि उन्होंने रॉल्स रॉयस जैसी महंगी कार खरीदकर कचरा फेंकवाने में लगा दिया?
Rolls Royce के शोरूम में राजा का अपमान
अलवर के राजा जय सिंह प्रभाकर साल 1920 के आसपास लंदन घूमने के लिए गए हुए थे. संयोग से एक दिन वे राजसी पोषाक के बिना ही लंदन की सड़कों पर साधारण कपड़ों में घूमने निकल पड़े. लंदन की सड़कों पर घूमने के दौरान उनकी नजर रॉल्स रॉयस की एक शोरूम पर पड़ गई, जो बेहद ही आकर्षक बना हुआ था. सबसे खास यह रहा कि रॉल्स रॉयस के शोरूम में प्रदर्शित करने के लिए जो मॉडल शोपीस के तौर पर लगाई गई थी, वह इतनी आकर्षक थी कि उसे देखकर राजा जय सिंह प्रभाकर अपना सुध-बुध खो बैठे. उन्हें इस बात का ख्याल ही नहीं रहा कि वे राजसी पोषाक में नहीं, बल्कि आम आदमी वाले साधारण कपड़ों में हैं. तो वे रॉल्स रॉयस के उस मॉडल की सुंदरता में मोहित होकर बेधड़क शोरूम के अंदर घुस गए. अब जब शोरूम के कर्मचारियों ने साधारण कपड़ों में एक गरीब जैसा दिखने वाला आम आदमी को शोरूम के अंदर आते हुए देखा, तो उन्होंने उन्हें बाहर जाने के लिए कह दिया. फिर क्या था, राजा का गुस्सा भभक उठा. उन्होंने उसे अपनी तौहीन समझ ली. उसी समय उन्होंने ठान लिया कि वे इस अपमान का बदला जरूर लेंगे.
राजा जय सिंह प्रभाकर ने अपमान का बदल लेने की ठानी
लंदन के रॉल्स रॉयस में हुई तौहीन को अलवर के राजा जय सिंह प्रभाकर ने दिल पर ले लिया. उसी समय उन्होंने रॉल्स रॉयस और अंग्रेजों से बदला लेने की ठान ली. इसके अगले दिन वे राजसी पोषाक में एक राजा की हैसियत से रॉल्स रॉयस के उसी शोरूम में दोबारा गए. जब तक वे शोरूम तक पहुंचते, इससे पहले ही शोरूम के कर्मचारियों को इस बात की भनक लग गई थी कि राजा जय सिंह प्रभाकर शोरूम में आ रहे हैं और कल जो साधारण कपड़ों में दिखने वाला गरीब व्यक्ति शोरूम में घुस आया था, वे राजा ही थे.
राजा जय सिंह ने एक साथ खरीदीं कई गाड़ियां
अब आगे की कहानी जानकार आप और भी चौंकेंगे. अलवर के राजा जय सिंह प्रभाकर जब दूसरे दिन लंदन के रॉल्स रॉयस के शोरूम में पहुंचे, वे राजा की हैसियत से गए. शोरूम के कर्मचारी पहले ही जान चुके थे कि राजा गाड़ी खरीदने आ रहे हैं. इसलिए अबकी बार उन कर्मचारियों ने राजा के लिहाज से उनका दिलोजान से स्वागत किया. कर्मचारियों के स्वागत को नजरअंदाज करते हुए राजा जय सिंह पहले ही की तरह शोरूम में बेधड़क घुस गए और शोरूम में घुसने के साथ ही उन्होंने बिना समय गंवाए ही रॉल्स रॉयस की कई गाड़ियों को खरीदने का ऑर्डर दे दिया. उनके इस ऑर्डर देखकर शोरूम के कर्मचारी भौंचक रह गए.
और राजा ने रॉल्स रॉयस से कचरा ढुलवा दिया
उन्होंने सभी गाड़ियों की पेमेंट कैश में की. इतना बड़ा ऑर्डर मिलने के बाद शोरूम के सभी कर्मचारी काफी खुश थे. मगर उन्हें नहीं पता था कि राजा जय सिंह उनकी गाड़ियों के साथ आगे क्या करने वाले थे. जैसे ही गाड़ियों की डिलीवरी भारत में हुई, राजा जय सिंह ने सभी गाड़ियों को नगरपालिका को सौंप दिया. इसके साथ ही उन्होंने आदेश दिया कि आज से इसमें ही कचरा उठाया जाएगा.
रॉल्स रॉयस ने पत्र लिखकर माफी मांगी
राजा के इस कदम के बाद रॉल्स रॉयस की गाड़ियों का मजाक बनने लगा. लोग इन्हें खरीदने से कतराने लगे. सभी को लगने लगा कि जिस गाड़ी में भारत अपना कचरा ढोता है, उसे कोई कैसे चला सकता है. कहते हैं, अंत में कंपनी ने पत्र लिखकर राजा जय सिंह से अपने कर्मचारी के व्यवहार के लिए माफी मांगी थी. साथ ही अनुरोध किया था कि उनकी गाड़ी से कचरा उठाना बंद कर दिया जाए. जय सिंह ने भी अपना दिल बड़ा करते हुए कंपनी को माफ कर दिया और गाड़ी से कचरा उठाने का काम बंद करवा दिया था.
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