एएमयू डिग्री विवाद पर शोधार्थी ने पीएम मोदी को लिखी चिट्ठी, यूनिवर्सिटी बोली- टाइपिंग मिस्टेक से गलतफहमी
आरोप है उन्हें लिंग्विस्टिक्स की डिग्री लौटाने को कहा गया और एलएएमएम (लैंग्वेज ऑफ एडवरटाइजिंग इन मार्केटिंग) डिग्री लेने की सलाह दी गई है. दानिश के मुताबिक पीएम मोदी की तारीफ करने के कारण उन्हें पीएचडी डिग्री लौटाने को कहा गया है.
AMU Degree Controversy: अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के रिसर्च स्कॉलर ने पीएम नरेंद्र मोदी को चिट्ठी लिखकर इंसाफ मांगा है. दानिश रहीम के मुताबिक पीएम मोदी की तारीफ करने के कारण उनसे पीएचडी की डिग्री वापस मांगी गई है. उनका आरोप है उन्हें लिंग्विस्टिक्स की डिग्री लौटाने को कहा गया और एलएएमएम (लैंग्वेज ऑफ एडवरटाइजिंग इन मार्केटिंग) डिग्री लेने की सलाह दी गई है. दानिश के मुताबिक पीएम मोदी की तारीफ करने के कारण उन्हें पीएचडी डिग्री लौटाने के निर्देश मिले हैं.
समाचार एजेंसी एएनआई से बातचीत में एएमयू का कहना है कि टाइपिंग मिस्टेक के कारण शोधार्थी को दूसरे सब्जेक्ट की पीएचडी डिग्री दे दी गई है. पांच साल बाद पीएचडी धारक को बताया गया है कि उसे भाषा विज्ञान में डिग्री दी गई है. वो डिग्री पीएचडी इन एलएएमएम होनी चाहिए. छात्र को अनजाने में भाषा विज्ञान में पीएचडी डिग्री दी गई है. विश्वविद्यालय ने टाइपिंग मिस्टेक को वजह बताया है.
एएमयू के फैसले से नाराज डॉ. दानिश रहीम ने हाईकोर्ट की शरण भी ली है. मामले की सात दिसंबर को सुनवाई होनी है. दानिश रहीम ने न्यूज एजेंसी एएनआई से बात करते हुए कहा कि उनके साथ यूनिवर्सिटी ने धोखा किया है. यह काफी परेशान करने वाला है. उन्होंने 27 अक्तूबर 2016 को भाषा विज्ञान विभाग में शोधार्थी के रूप में दाखिला लिया. उन्हें 9 मार्च 2021 को पीएचडी की उपाधि दी मिली. उन्होंने ‘न्यूज टॉक: इन्वेस्टिंग द लैंग्वेज ऑफ हिंदी-उर्दू न्यूज मीडिया’ पर पीएचडी किया था.
By mistake, he was given the PhD degree in Linguistics. The mistake will be rectified… This incident has nothing to do with politics: AMU Spokesperson Prof Shafey Kidway (2/2) (30.11.2021) pic.twitter.com/LCJiu8sKvR
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) November 30, 2021
दानिश का आरोप है कि पीएम मोदी की तारीफ करने के कारण डिग्री वापस करने को कहा गया है. वहीं, विश्वविद्यालय प्रबंधन दानिश रहीम के आरोपों से इंकार कर रहा है. अलीगढ़ विश्वविद्यालय के प्रो. शाफे किदवई ने दानिश रहीम के आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया है. वो कहते हैं कि दानिश ने एलएएमएम में एमए किया था. भाषा विज्ञान विभाग ही एलएएमएम में पीएचडी कराता है. टाइपिंग मिस्टेक के चलते दानिश की पीएचडी इन एलएएमएम की जगह पीएचडी इन भाषा विज्ञान हो गई.
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