ठगी मामले की जांच करने पहुंचे पुलिस टीम पर हमला, इंस्पेक्टर समेत पांच पुलिसकर्मी घायल

सीतामढ़ी : जिले के चोरौत प्रखंड की भंटावारी पंचायत के सैकड़ों ग्रामीणों से कथित लाखों रुपये की ठगी के मामले में जांच करने गयी स्थानीय थाने के एएसआई राजेश चटर्जी को आरोपितों के साथ मिलीभगत का आरोप लगाते हुए बंधक बना लिया गया. यह जानकारी मिलने पर थानाध्यक्ष रामविनय पासवान के साथ पहुंचे पुलिसकर्मियों पर ग्रामीणों ने हमला कर दिया.

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 29, 2020 7:07 PM

सीतामढ़ी : जिले के चोरौत प्रखंड की भंटावारी पंचायत के सैकड़ों ग्रामीणों से कथित लाखों रुपये की ठगी के मामले में जांच करने गयी स्थानीय थाने के एएसआई राजेश चटर्जी को आरोपितों के साथ मिलीभगत का आरोप लगाते हुए बंधक बना लिया गया. यह जानकारी मिलने पर थानाध्यक्ष रामविनय पासवान के साथ पहुंचे पुलिसकर्मियों पर ग्रामीणों ने हमला कर दिया.

ग्रामीणों के आक्रामक रोड़ेबाजी को देख कर पुलिसकर्मी जान बचाने के लिए अपने वाहन को छोड़ कर भाग खड़े हुए. इस बीच, ग्रामीणों के हमले से सर्किल इंस्पेक्टर विजय कुमार, एसआई राजेश चटर्जी, अजीत कुमार व महिला सिपाही शालू कुमारी एवं पूजा कुमारी घायल हो गयीं. सभी घायल पुलिसकर्मी का इलाज स्थानीय पीएचसी में चल रहा है.

घटना की सूचना मिलने पर पुपरी एसडीओ धनंजय कुमार और सीओ अरविंद उद्धव घटनास्थल पर पहुंचे. प्रखंड से सटे नानपुर समेत अन्य थाना की पुलिस भी घटनास्थल पर पहुंची. लेकिन, ग्रामीणों ने प्रवेश द्वारा पर बांस-बल्ला लगाकर अधिकारियों को गांव के अंदर नहीं घुसने दिया. बाद में जदयू के प्रखंड अध्यक्ष ओमप्रकाश राय के कहने पर पुलिस वाहन को ले जाने दिया गया.

क्या है पूरा मामला

बताया जाता है कि गत 20 जुलाई को भंटावारी पंचायत के सरपंच इंदल राम के साथ बसोतरा, जोगिया और परिगामा गांव से आवेदन लेकर ललिता देवी, राधा देवी, सोनाली कुमारी, इंदु देवी, नीतू कुमारी, रेखा देवी, मंजू देवी, रनिया देवी, मधु कुमारी, सुनीता कुमारी, सुजीता कुमारी, नीलम देवी व मुस्कान कुमारी समेत दर्जनों महिला-पुरुष आवेदन लेकर थाने पहुंची. उन्होंने पुलिस को बताया कि भंटावारी पंचायत निवासी अखिलेश यादव के पुत्र सुजीत कुमार और रामप्रीत साह का पुत्र राहुल कुमार कोरोना वायरस को लेकर घर-घर जाकर साबुन वितरण किया था. इस दौरान दोनों ने आधार नंबर मांगने के साथ पिघले मोम पर अंगूठे का निशान लिया था. बाद में सभी के खाते से राशि की निकासी कर ली गयी. मोबाइल पर खाते से राशि निकासी का मैसेज आने पर ठगी का एहसास हुआ.

क्या कहते हैं अधिकारी

थानाध्यक्ष रामविनय पासवान ने कहा है कि आवेदन मिलने के बाद प्राथमिकी दर्ज कर जांच-पड़ताल की जा रही थी. जांच को लेकर ही एएसआई राजेश चटर्जी ठगी के शिकार लोगों का खाता संख्या लाने गये थे. ताकि, जांच को आगे बढ़ाया जा सके. लेकिन, ग्रामीणों ने आरोपितों के साथ मिलीभगत का आरोप लगाकर हमला कर दिया. उपद्रवी तत्वों को चिह्नित कर वरीय अधिकारियों के निर्देशानुसार आगे की कार्रवाई की जायेगी.

Posted By : Kaushal Kishor

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