कोलकाता: देश की आज़ादी का आंदोलन हो या संपूर्ण क्रांति का आंदोलन अथवा अन्ना आंदोलन, युवाओं की भूमिका इन सबमें महत्वपूर्ण रही है. यहां तक कि नरेंद्र मोदी के प्रधानमंत्री बनने में भी इन्हीं युवाओं की महत्वपूर्ण रही है. ये बातें युवा चेतना द्वारा ‘युवा और भारत’ विषय पर आयोजित एक वेबिनार का उद्घाटन करने के बाद स्वामी अभिषेक ब्रह्मचारी ने कहीं.
स्वामी जी ध्यान दिलाया कि कृष्ण ने कंस का संहार भी युवा अवस्था में ही किया था. कार्यक्रम के मुख्य अतिथि कर्नाटक हाइकोर्ट के पूर्व मुख्य न्यायाधीश जस्टिस शुभ्र कमल मुखर्जी ने कहा कि युवा ही भारत को तरक्की की राह पर ले जा सकते हैं, चला सकते हैं. जस्टिस मुखर्जी ने कहा कि देश में जब-जब कुछ नया, विशेष और बड़ा हुआ, तब-तब सामने युवा वर्ग ही आगे आया और दिखा. जस्टिस मुखर्जी ने कहा कि अनुशासित युवा ही भारत को विश्वगुरु बना सकते हैं.
वेबिनार की अध्यक्षता करते हुए युवा चेतना के राष्ट्रीय संयोजक रोहित कुमार सिंह ने कहा कि देश की 65 फ़ीसदी आबादी युवाओं की है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को देश के युवा वर्ग को समृद्ध बनाने हेतु राष्ट्रीय युवा आयोग का गठन करना चाहिए. सिंह ने कहा कि भारत में जाति-धर्म के आधार पर आयोग हो सकते हैं, तो युवाओं के लिए क्यों नहीं?
रूड़की स्थित यूइटीआर विश्वविद्यालय के कुलाधिपति जेसी जैन ने कहा कि राजनीतिक क्षेत्र में युवाओं की भूमिका को बढ़ा कर देश में मौलिक परिवर्तन लाया जा सकता है. कार्यक्रम में अपनी बातें रखते हुए पद्मश्री डॉ सुनील जोगी ने कहा कि आदिगुरु शंकराचार्य ने युवा अवस्था में ही सनातन धर्म को पुनर्स्थापित किया था. उद्योगपति मनोज गोयल ने कहा कि भारत को विकसित बनाने हेतु युवा वर्ग को व्यापार के क्षेत्र में भी आगे आना होगा. गोयल के अनुसार, सरकार को भी युवाओं के प्रति नरम रुख दिखाना होगा, ताकि वे स्वरोज़गार के क्षेत्र में आगे आ सकें.
Posted By: Aditi Singh