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दुष्कर्म के बाद दर्द से तड़प रही थी नाबालिग पीड़िता, तमाशबीन बने रहे लोग, प्रभात खबर की पहल पर मिला न्याय

बिहार के बांका जिले में बौंसी मुख्य चौके पर दुष्कर्म के बाद खून से लथपथ 13 वर्षीय नाबालिग आदिवासी लड़की को प्रभात खबर की पहल पर न्याय मिला और उसका इलाज हो पाया. मालूम हो कि शनिवार की सुबह बौसी मुख्य चौक पर 13 वर्षीय नाबालिग लड़की खून सने कपड़े के साथ बैठी हुई थी. आते-जाते लोग तमाशबीन बन उसे देख रहे थे. लेकिन, उस बच्ची की दर्द को कोई समझ नहीं पा रहा था.

बांका : बिहार के बांका जिले में बौंसी मुख्य चौके पर दुष्कर्म के बाद खून से लथपथ 13 वर्षीय नाबालिग आदिवासी लड़की को प्रभात खबर की पहल पर न्याय मिला और उसका इलाज हो पाया. मालूम हो कि शनिवार की सुबह बौसी मुख्य चौक पर 13 वर्षीय नाबालिग लड़की खून सने कपड़े के साथ बैठी हुई थी. आते-जाते लोग तमाशबीन बन उसे देख रहे थे. लेकिन, उस बच्ची की दर्द को कोई समझ नहीं पा रहा था.

प्रभात खबर के स्थानीय रिपोर्टर को जानकारी मिलने के बाद बच्ची को रिक्शे के द्वारा रेफरल अस्पताल पहुंचाया गया. जहां चिकित्सक आरके सिंह की मौजूदगी में इलाज किया गया. इसके बाद रिपोर्टर ने बच्ची को नया कपड़ा दिया. इस बीच सूचना मिलने के बाद थानाध्यक्ष राजेश कुमार यादव दल बल के साथ अस्पताल पहुंचे और बच्ची से आवश्यक पूछताछ की.

नाबालिग ने पुलिस को बताया कि झारखंड के पथरगामा थाना क्षेत्र अंतर्गत एक गांव की हूं. मैं इसी थाना क्षेत्र के खेरवार गांव में अपने बुआ के यहां थी. जहां बगल के जोगीडीह गांव निवासी विमल हांसदा के द्वारा उसके साथ दुष्कर्म किया गया और मारपीट के बाद पथरगामा थाना क्षेत्र के गांधीग्राम के पास छोड़ दिया गया. हालांकि, घटना शुक्रवार रात की बताई जाती है. पीड़ित लड़की के अनुसार वह वहां से पैदल ही भटकते हुए यहां पहुंच गयी. उसने बताया कि रात को वह किसी पहाड़ी के पास सोई थी. जिसकी उसे जानकारी नहीं है और सुबह में वह भटकते हुए बौंसी बाजार के मुख्य चौक पर पहुंच गयी.

अभी तक सदमे में है पीड़िता

थानाध्यक्ष राजेश कुमार यादव की मौजूदगी में महिला पुलिसकर्मी और अस्पताल की आदिवासी नर्स के द्वारा जब उसके भाषा में बातचीत की गयी तो उसने बताया कि वह यहां कैसे पहुंची वह बताने में असमर्थ है. खून से लथपथ लड़की दर्द से पूरी तरह कराह रही है. दर्द की वजह से वह कुछ बोल पाने में भी असमर्थ है. अस्पताल सूत्रों की माने तो बच्ची का अंदरूनी हिस्सा पूरी तरह जख्मी हो चुका है. हालांकि, चिकित्सक के द्वारा कहा गया कि मेडिकल परीक्षण के बाद ही दुष्कर्म की पुष्टि हो पायेगी.

वहीं, थानाध्यक्ष राजेश कुमार यादव ने वरीय पुलिस पदाधिकारियों से बात कर पथरगामा थानाध्यक्ष को मामले की जानकारी दी. दोपहर में पथरगामा थानाध्यक्ष सुरेन्द्र सिंह पीड़ित लड़की को अपने साथ ले गये. बताया गया कि पथरगामा थाना में प्राथमिकी दर्ज कर आरोपी की गिरफ्तारी की जायेगी. बौंसी अस्पताल के एंम्बुलेंस से पुलिस के साथ नाबालिग पीड़ित को सदर अस्पताल गोड्डा(झारखंड) ले जाया गया. थानाध्यक्ष राजेश कुमार यादव ने बताया कि घटनास्थल झारखंड के पथरगामा थाना क्षेत्र में पड़ता है इसलिए प्राथमिकी वहीं की जायेगी.

खत्म हो रही है लोगों की संवेदना

दुष्कर्म की शिकार नाबालिग लड़की मुख्य चौक पर करीब एक घंटे से ज्यादा देर तक बैठी रही. अत्यधिक रक्तस्राव की वजह से उसे चक्कर भी आ रहा था. लेकिन, आते-जाते और वहां मौजूद लोग तमाशबीन बन केवल देखने का काम कर रहे थे. उसकी मदद करने कोई नहीं पहुंच रहे थे. जबकि उस वक्त वहां पर समाज में प्रतिष्ठित कहे जाने वाले कई लोग मौजूद थे. हालांकि, रेफरल अस्पताल ले जाने के बाद ड्यूटी पर तैनात एएनएम और ममता के द्वारा जहां उसका इलाज किया गया. वहीं भूखी नाबालिग को भोजन भी कराया गया. जबकि, बौंसी की प्रतिष्ठित कपड़े की दुकान राधिका ड्रेसेस के प्रोपराइटर कौशल बजाज के द्वारा प्रभात खबर की पहल पर बच्ची को नये कपड़े दिये गये.

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