CTET Pass Rickshawala: बिहार में सीटेट पास युवक चला रहा ई-रिक्शा, वरुण गांधी ने ट्वीट किया वीडियो
भाजपा सांसद वरुण गांधी ने बेरोजगारी पर ट्वीट करते हुए CTET Pass Rickshawala का वीडियो शेयर किया. साथ ही उन्होंने लिखा की दुख होता है जब एक कुशल एवं शिक्षित व्यक्ति को योग्यता और क्षमता के अनुरूप रोजगार का अवसर नहीं मिलता.
आए दिन सोशल मीडिया पर कई तरह की समस्यों से जुड़ा वीडियो देखा जाता है. जिसके बाद कई तरह के सवाल उठते है वीडियो भी वायरल हो जाता है पर समाधान नहीं मिल पाता. इसी क्रम में अब बेरोजगारी के ऊपर सवाल उठाते हुए ट्विटर पर लगातार सक्रिय रहने वाले भारतीय जनता पार्टी के नेता और उत्तर प्रदेश के पीलीभीत से सांसद वरुण गांधी ने एक ट्वीट किया है. उन्होंने इस ट्वीट में सीटीईटी पास अभ्यर्थी का रिक्शा चलाते हुए वीडियो डाला है. यह वीडियो सोशल मीडिया पर बहुत तेजी से वायरल भी हो चुका है.
संसद की ‘संयुक्त असफलता’
वीडियो शेयर करते हुए सांसद वरुण गांधी ने ट्विटर पर लिखा की ‘कोई काम छोटा या बड़ा नहीं होता! पर दुःख होता है जब एक कुशल एवं शिक्षित व्यक्ति को योग्यता और क्षमता के अनुरूप रोजगार का अवसर नहीं मिलता. जब देश में 60 लाख से अधिक ‘स्वीकृत पद’ खाली पड़े हैं, तब CTET पास यह नौजवान रिक्शा चलाने को मजबूर है. यह हमारी संसद की ‘संयुक्त असफलता’ है.
कोई काम छोटा या बड़ा नहीं होता!
पर दुःख होता है जब एक कुशल एवं शिक्षित व्यक्ति को योग्यता और क्षमता के अनुरूप रोजगार का अवसर नहीं मिलता।
जब देश में 60 लाख से अधिक ‘स्वीकृत पद’ खाली पड़े हैं, तब CTET पास यह नौजवान रिक्शा चलाने को मजबूर है यह हमारी संसद की ‘संयुक्त असफलता’ है। pic.twitter.com/whsKyaYbVg
— Varun Gandhi (@varungandhi80) June 6, 2022
बेगूसराय का रहने वाला
सीटेट पास रिक्शेवाले का यह वायरल वीडियो बिहार के बेगूसराय जिले का है. जहां मोहम्मद जहांगीर नाम का युवक ई-रिक्शा चला रहा है. और उन्होंने अपने ई-रिक्शा पर ‘CTET पास रिक्शा वाला’ लिख रखा है. पढ़ाई पूरी करने के बाद जहांगीर ने CTET की परीक्षा पास की और उन्हें भरोसा था कि वे जल्द ही टीचर बनकर बच्चों को पढ़ाएंगे. लेकिन नौकरी ना मिलने से नाराज जहांगीर ने लोन लेकर एक ई-रिक्शा लिया और अब उसी से अपना गुजारा चला रहे हैं.
2019 में पास किया था सीटेट
इस विषय में जहांगीर बताते हैं कि 2019 में सीटेट करने के बाद जब उनसे एक बैच पहले तक के सीटेट पास को ही आवेदन की अनुमति मिली तो मन उदास हो गया. माता-पिता दोनों बीमार रहते हैं इसलिए घर पर रहने की मजबूरी थी. ट्यूशन भी पढ़ाया पर घर खर्च भी नहीं निकल पा रहा था. इसी बीच मुख्यमंत्री परिवहन योजना के तहत तीन चक्का गाड़ी पर कुछ अनुदान की सूचना मिली तो ई-रिक्शा चलाने वाले दिल्ली के एक साथी से बात कीऔर फिर योजना में आवेदन कर दिया. योजना में चयनित होने पर 1.65 लाख का ई-रिक्शा 95 हजार रुपये में मिला.