Gorakhpur News: गोरखपुर के चौरी-चौरा के राघोपट्टी पडरी के रहने वाले फौजी धनंजय यादव का पार्थिक शरीर शुक्रवार को उनके घर पहुंचा. तीन दिन पहले उनकी मौत की खबर उनके परिवार के लोगों को दिया गया था. धनंजय यादव सिक्किम में तैनात थे. परिवार वालों का आरोप है कि धनंजय यादव को उनके अधिकारियों की तरफ से प्रताड़ित किया जाता था.
परिवार के लोगों के मुताबिक, तीन दिनों से धनंजय यादव के गायब होने की सूचना थी और 22 मार्च की देर रात को सूचना मिली कि उनकी मौत हो गई है. जिसने फोन किया था, उसने उनकी मौत की वजह सुसाइड बताया था.
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परिवार के लोगों की मानें तो धनंजय यादव ने सुसाइड नहीं की है. मृतक सेना के जवान के पार्थिव शरीर के साथ कोई भी सेना का सदस्य नहीं आया. उनका पार्थिव शरीर गांव में पहुंचते ही ‘भारत माता की जय’ और ‘धनंजय भैया अमर रहे’ के नारे के साथ हजारों युवा एकत्रित हो गए. सभी की आंखें नम थी. गांव की सभी महिलाएं सेना के जवान धनंजय यादव के घर पर एकत्रित हो गईं. सूचना के बाद मौके पर स्थानीय एसडीएम अनूप मिश्रा, सीओ चौरी चौरा अखिलानंद उपाध्याय सहित पुलिस बल पहुंच गई.
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मृतक धनंजय यादव के परिवार वाले यह मानने को तैयार ही नहीं कि धनंजय ने सुसाइड की है धनंजय यादव के पिता का आरोप है कि उनके लड़के के साथ कोई अनहोनी हुई है. उनका कहना है कि उनके पार्थिक शरीर के साथ उनके बटालियन के लोग भी नहीं आए हैं. मृतक फौजी की बहन आरती का कहना है कि हमारे भाई के साथ नाइंसाफी हुई है. इसकी जांच होनी चाहिए. उनका यह भी कहना है कि मेरे बूढ़े मां बाप का सहारा कौन बनेगा.
फिलहाल मृतक फौजी धनंजय यादव के गांव के नौजवानों में काफी गुस्सा देखने को मिल रहा है. उनकी मानें तो पहली बार ऐसा हुआ कि किसी फौजी के पार्थिव शरीर को निजी एंबुलेंस में भेजा गया है. गुस्सायी भीड़ ने शुक्रवार रात को गोरखपुर देवरिया मार्ग को आधे घंटे तक जाम कर दिया था, जिसके बाद पुलिस और प्रशासन के आला अधिकारी मौके पर पहुंचे. गांव के युवाओं की मांग थी कि सैनिक को सम्मान जनक तरीके से अंतिम विदाई देनी चाहिए.
रिपोर्ट- कुमार प्रदीप, गोरखपुर