Brihaspati Dev Aarti: आज करें बृहस्पति देव की आरती, पूरी होगी हैं हर इच्छा
Brihaspati Dev Aarti: गुरुवार को व्रत रखने और व्रत कथा का पाठ करने से कष्ट एवं पाप मिटते हैं, सभी दुख दूर होते हैं. देव गुरु बृहस्पति की कृपा से कार्यों में सफलता मिलती है, यश एवं कीर्ति प्राप्त होती है. आज के दिन विष्णु जी के बृहस्पति रूप का पूजन किया जाता है. यहां देखें बृहस्पति देव की आरती
श्री बृहस्पतिवार की आरती- ॐ जय बृहस्पति देवा-
ॐ जय बृहस्पति देवा, जय बृहस्पति देवा।
छिन-छिन भोग लगाऊं, कदली फल मेवा।।
ॐ जय बृहस्पति देवा।।
तुम पूर्ण परमात्मा, तुम अंतर्यामी।
जगतपिता जगदीश्वर, तुम सबके स्वामी।।
ॐ जय बृहस्पति देवा।।
चरणामृत निज निर्मल, सब पातक हर्ता।
सकल मनोरथ दायक, कृपा करो भर्ता।।
ॐ जय बृहस्पति देवा।।
तन, मन, धन अर्पण कर, जो जन शरण पड़े।
प्रभु प्रकट तब होकर, आकर द्वार खड़े।।
ॐ जय बृहस्पति देवा।।
दीनदयाल दयानिधि, भक्तन हितकारी।
पाप दोष सब हर्ता, भव बंधन हारी।।
ॐ जय बृहस्पति देवा।।
सकल मनोरथ दायक, सब संशय तारो।
विषय विकार मिटाओ, संतन सुखकारी।।
ॐ जय बृहस्पति देवा।।
श्री बृहस्पतिवार की आरती-
ॐ जय बृहस्पति देवा
ॐ जय बृहस्पति देवा, जय बृहस्पति देवा।
छिन-छिन भोग लगाऊं, कदली फल मेवा।।
ॐ जय बृहस्पति देवा।।
तुम पूर्ण परमात्मा, तुम अंतर्यामी।
जगतपिता जगदीश्वर, तुम सबके स्वामी।।
ॐ जय बृहस्पति देवा।।
बृहस्पति देव का दान
कुंडली में गुरु दोष को दूर करने के लिए गुरुवार व्रत रखा जाता है. गुरुवार के दिन पीले फूल, बेसन के लड्डू, चने की दाल, पीले वस्त्र, पुस्तक आदि का दान करना चाहिए.यह दान किसी ब्राह्मण को दान करें. आज के दिन अपने गुरुजन का आशीर्वाद लेने से भी लाभ होता है.