Coal India: चालू वित्तीय वर्ष के 9 माह में BCCL को हुआ 431 करोड़ रुपये का मुनाफा

बीसीसीएल ऑडिट कमेटी की बैठक में चालू वित्त वर्ष के नौ माह के वित्तीय लेखा-जोखा का निष्पादन किया गया. कई चुनौतियों के बावजूद बीसीसीएल मुनाफे में है. बीसीसीएल को चालू वित्तीय वर्ष (2022-23) के नौ माह में करीब 431 करोड़ रुपये का मुनाफा हुआ है.

By Prabhat Khabar News Desk | January 25, 2023 8:29 AM
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Dhanbad News: बीसीसीएल को चालू वित्तीय वर्ष (2022-23) के नौ माह में करीब 431 करोड़ रुपये का मुनाफा हुआ है. चालू वित्तीय वर्ष की प्रथम तिमाही में जहां कंपनी को 164 करोड़ व दूसरी तिमाही में 126 करोड़ रुपये का मुनाफा हुआ था, वहीं तीसरी तिमाही में करीब 141 करोड़ का मुनाफा हुआ है. मंगलवार को काेयला भवन में हुई बीसीसीएल ऑडिट कमेटी की बैठक में चालू वित्त वर्ष के नौ माह के वित्तीय लेखा-जोखा का निष्पादन किया गया. कई चुनौतियों के बावजूद बीसीसीएल मुनाफे में है. हालांकि लिस्टेट कंपनी होने के कारण बीसीसीएल की ओर से मुनाफे की वास्तविक रकम की घोषणा नहीं की गयी है.

झरिया मास्टर प्लान में आवास निर्माण पर खर्च 750 करोड़

झरिया मास्टर प्लान के तहत आवास निर्माण पर खर्च किये गये करीब 750 करोड़ रुपये की मांग के लिए पुन: कोल इंडिया प्रस्ताव भेजने का निर्णय लिया गया है. बता दें कि इससे पहले भी बीसीसीएल दो बार प्रस्ताव भेज कोल इंडिया से फंड की डिमांड कर चुकी है, जिसे रिजेक्ट कर दिया गया था. परंतु नया मास्टर प्लान बन रहा है. ऐसे में बीसीसीएल बोर्ड ने फिर से फंड का डिमांड करने का निर्णय लिया है. इसके लिए जल्द ही प्रस्ताव कोल इंडिया भेजा जायेगा. बोर्ड मीटिंग में बीसीसीएल के निदेशक तकनीकी (परिचालन) संजय कुमार सिंह, निदेशक तकनीकी (योजना व परियोजना) उदय ए कावले, निदेशक (कार्मिक) हर्षनाथ मिश्रा समेत अन्य स्वतंत्र निदेशक व संबंधित अधिकारी उपस्थित थे.

ढाई हजार से अधिक विधि मामले लंबित

बीसीसीएल बोर्ड को बताया गया है कंपनी में ढाई हजार से अधिक विधि से संबंधित मामले लंबित हैं.. जिस पर कंपनी की आवश्यक राशि खर्च हो रही है. जिस पर बोर्ड ने विधि मामलों के त्वरित निष्पादन पर जोर दिया. साथ ही अब रिस्क मैनेजमेंट कमेटी विधि मामलों की समीक्षा करेंगी, ताकि विधि के लंबित मामले को निष्पादन सुनिश्चित हो सके.

पांच वर्षों में 10-12 हजार कम हो जायेगा बीसीसीएल का मैनपावर

बीसीसीएल बोर्ड को बताया गया है कि अगले पांच वर्षों में कंपनी का मैनपावर 10-12 हजार कम हो जायेगा. ऐसे में बीसीसीएल बोर्ड ने अस्पताल, क्लर्क, ओवरमैन, माइनिंग सरदार समेत अन्य संवेदनशील पदों की भरपाई के लिए कार्मिक विभाग को मैनपावर बजट तैयार करने को कहा है, ताकि संवेदशील व वैधानिक रिक्त पदों की भरपाई सुनिश्चित की जा सके.

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सात करोड़ की रिपो मशीन की होगी खरीद

इधर बीसीसीएल की 396 वीं बोर्ड मीटिंग सीएमडी समीरन दत्ता की अध्यक्षता में हुई. इसमें बिना ब्लास्टिंग के कोयला उत्पादन के लिए सात करोड़ रुपये की लागत से रिपो मशीन की खरीदारी के प्रस्ताव को हरी झंडी दी गयी. उक्त मशीन का इस्तेमाल बीसीसीएल के गोविंदपुर एरिया में किया जायेगा. साथ ही बस्ताकोला एरिया के बस्ताकोला व कुइंया माइंस के क्लोजर प्लान को मंजूरी दी गयी है.

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