Covid 19 in Jharkhand : झारखंड कम्युनिटी ट्रांसमिशन का बढ़ा खतरा, गली-मोहल्ले से कोरोना संक्रमित मिलने लगे
रांची झारखंड में कोरोना वायरस का संक्रमण अब कम्युनिटी ट्रांसमिशन की तरफ बढ़ रहा है. हालांकि, इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आइसीएमआर) फिलहाल इस बात से इनकार कर रहा है.
राजीव पांडेय : रांची झारखंड में कोरोना वायरस का संक्रमण अब कम्युनिटी ट्रांसमिशन की तरफ बढ़ रहा है. हालांकि, इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आइसीएमआर) फिलहाल इस बात से इनकार कर रहा है. लेकिन, मौजूदा वक्त में राज्य में मिल रहे कोरोना संक्रमितों के अध्ययन के आधार पर विशेषज्ञ डॉक्टर कम्युनिटी ट्रांसमिशन का अंदेशा जाहिर कर रहे हैं. झारखंड में अब गली-मोहल्ले से कोरोना संक्रमित मिलने लगे हैं, जिससे संक्रमितों की संख्या अचानक बढ़ी है. हाल के दिनों में मिले संक्रमितों की कोई ट्रेवल हिस्ट्री नहीं रही और न ही किसी कोरोना संक्रमित से उनका सीधा संपर्क हुआ है. राजधानी रांची में छह से ज्यादा एेसे मामले सामने आये हैं.
वहीं, सामान्य फ्लू के लक्षण पर जब लोग सदर अस्पताल में जांच कराने पहुंचे, तो डॉक्टरों ने कोरोना की जांच कराने को कहा. जांच में रिपोर्ट पॉजिटिव आयी. संक्रमित खुद हैरान हैं कि उनकी रिपोर्ट पॉजिटिव कैसे आ गयी? नॉन डायबिटीज और बीपी के मरीजों को कुछ पता नहीं चल रहा है और वे संक्रमित हो जा रहे हैं.
इस स्थिति को विशेषज्ञ डॉक्टर कम्युनिटी ट्रांसमिशन का संकेत मान रहे हैं. उनका कहना है कि यही वक्त है जब लोगों को और भी ज्यादा सतर्कता बरतनी चाहिए. सरकार ने भले ही अनलॉक की प्रक्रिया शुरू कर दी हो, पर लोगों को अब भी लॉकडाउन की गाइड लाइन का पालन करना होगा.
राजधानी के एक निजी अस्पताल में वृद्ध महिला यूरिनरी ट्रैक्ट इंफेक्शन (यूटीआइ) की समस्या को लेकर भर्ती हुई थी. इलाज के दौरान कोरोना जांच के लिए उनका सैंपल लिया गया. बीमारी ठीक होने पर उन्हें अस्पताल से छुट्टी दी जा रही थी, तभी पता चला कि वह कोरोना पॉजिटिव हैं. महिला के परिजन इस बात को लेकर चिंतित थे कि लॉकडाउन के दौरान महिला कभी घर से नहीं निकली. इसके बावजूद वह कैसे पॉजिटिव हो गयी? जबकि घर के अन्य लाेग पॉजिटिव नहीं हैं.
अनलॉक शुरू होते ही सड़कों पर भीड़ लगने लगी है. लोग दूध, सब्जी और राशन के लिए बाहर निकल रहे हैं. कई लोग बिना ट्रेवल हिस्ट्री या पॉजिटिव के क्लोज कॉन्टैक्ट में आये बिना भी संक्रमित हो रहे हैं. इसे कम्युनिटी ट्रांसमिशन का संकेत मान कर और ज्यादा सतर्क हो जाना चाहिए.
– डॉ मनोज कुमार, माइक्रोबायोलाॅजिस्ट, रिम्स
आइसीएमआर के हिसाब से अब तक कोरोना के कम्युनिटी ट्रांसमिशन का स्टेज नहीं आया है. हालांकि, कई लोग संक्रमित से सीधा संपर्क नहीं होने या बिना ट्रेवल हिस्ट्री के भी पॉजिटिव पाये गये हैं. इसका मतलब साफ है कि हम कोरोना के कम्युनिटी ट्रांसमिशन की ओर बढ़ रहे हैं.
– डॉ जेके मित्रा, विभागाध्यक्ष, मेडिसिन, रिम्स
कम्युनिटी ट्रांसमिशन के संकेत तो मिल ही रहे हैं, क्योंकि मरीज अस्पताल में सामान्य बीमारी लेकर भर्ती हो रहे हैं और जांच में कोरोना पॉजिटिव मिल रहे हैं. संक्रमित व्यक्ति कभी घर से बाहर निकला ही नहीं और घर वाले पॉजिटिव नहीं हैं. यह कम्युनिटी ट्रांसमिशन नहीं तो और क्या है?
– डॉ पूजा सहाय, माइक्रोबायोलॉजिस्ट, मेडिका
55 संक्रमित मिले इनमें चार रांची के पुलिसकर्मी : झारखंड में सोमवार को 55 नये कोरोना संक्रमित मिले हैं. पूर्वी सिंहभूम से 24, रांची से 10, सरायकेला से आठ, हजारीबाग से चार, चतरा से तीन, लोहरदगा व कोडरमा से दो-दो और पलामू व लातेहार से एक-एक कोरोना संक्रमित मिले हैं. रांची से मिले 10 संक्रमितों में चार पुलिसकर्मी हैं. इनमें तीन पुलिसकर्मी हिंदपीढ़ी थाने के हैं. वहीं, चौथे सुखदेवनगर थाने का एएसआइ हैं, जो रिम्स में भर्ती लालू प्रसाद की सुरक्षा में थे. इसके अलावा लोहरदगा से मिले दो संक्रमितों में वहां के सिविल सर्जन भी शामिल हैं.
अब तक राज्य में 2863 कोरोना पॉजिटिव मिल चुके हैं. इनमें से 20 की मौत हो चुकी है. वहीं, 2068 संक्रमित स्वस्थ हो चुके हैं. सोमवार को 23 मरीज स्वस्थ हुए हैं. इनमें पूर्वी सिंहभूम से छह, देवघर से तीन, गुमला से दो, गिरिडीह से दो, हजारीबाग से एक, कोडरमा से तीन, लोहरदगा से चार, पाकुड़ और पलामू से एक-एक मरीज स्वस्थ होकर डिस्चार्ज कर दिये गये हैं.
Post by : Pritish Sahay