लेजेंड्री एक्टर दिलीप कुमार ने आज दुनिया को अलविदा कह दिया. ट्रैजेडी किंग के नाम से मशहूर दिलीप कुमार ने 98 साल की उम्र में आखिरी सांस ली. पिछले काफी समय से उन्हें सांस लेने में दिक्कत हो रही थी. जिसकी वजह से कई बार उन्हें अस्पताल में भी भर्ती करना पड़ा था.
उन्होंने अपने करियर की शुरुआत फिल्म ज्वार भाटा (1944) से की थी. यह एक अभिनय करियर की शुरुआत थी, जो पांच दशकों तक चला. दिलीप कुमार बॉलीवुड में रियलिज्म और मेथड एक्टिंग लाने वाले स्टार के तौर पर जाने जाते थे. उनके पास एक अद्भुत विरासत थी. हालांकि, अपने लंबे करियर के दौरान दिलीप कुमार ने वास्तव में कई और फिल्में साइन की थीं, जो दर्शकों को देखने को नहीं मिलीं. आइए जानें दिलीप कुमार की ऐसी उन फिल्मों के बारे में जो कभी रिलीज नहीं हो सकीं.
जानवर – 50 के दशक की शुरुआत में, मधुबाला, नरगिस और मीना कुमारी बॉलीवुड की शीर्ष अभिनेत्रियाँ थीं. इन सबके साथ दिलीप कुमार ने काम किया था. दिलीप कुमार और सुरैया की जोड़ी को जानवर के लिए चुना गया था।. फिल्म के एक सीन में दिलीप साहब को सुरैया के पैर से सांप का जहर चूसना है. इसके अलावा, दोनों सितारों के बीच एक किस सीन रखने की भी बात थी, जिससे सुरैया नाखुश थी. बाद में ये फिल्म रिलीज नहीं हो पाई.
शिकवा – बॉलीवुड के सुनहरे दौर में दिलीप कुमार कभी नूतन बहल के साथ पर्दे पर नजर नहीं आए. वह उस समय एक राज करने वाली भारतीय अभिनेत्री थीं. हालांकि, यह मान लेना गलत है क्योंकि उन्हें एक साथ काम करने का अवसर कभी नहीं मिला था. शिकवा एक रोमांटिक ड्रामा थी. फिल्म में, ट्रैजेडी किंग ने सेना अधिकारी राम की भूमिका निभाई थी. इस फिल्म में नूतन इंदु की भूमिका निभाने वाली थीं.instagram
आग का दरिया- दिलीप कुमार 1995 की फिल्म आग का दरिया में एक नौसेना अधिकारी की भूमिका निभा रहे थे. निर्देशक एसवी राजेंद्र सिंह बाबू भी रेखा, राजीव कपूर और पद्मिनी कोल्हापुरे को फीचर करने के लिए थे. हालांकि फिल्म पूरी नहीं हो पाई.
कलिंग- दिलीप कुमार को खुद जज कलिंग की भूमिका निभानी थी, एक पिता जिसे बेटे के बच्चों द्वारा उसके साथ दुर्व्यवहार किया जाता है जब वह सेवानिवृत्त होता है और कैसे वह उनसे बदला लेता है. फिल्म का आधार अमिताभ बच्चन के साथ बागबान (2003) के रवि चोपड़ा निर्देशन के समान था.
असर – द इम्पैक्ट- 2001 में, दिलीप कुमार ने अजय देवगन और प्रियंका चोपड़ा के साथ एक फिल्म पर काम करना शुरू किया. इसे असर – द इम्पैक्ट कहा जाता था। फिल्म के निर्देशक कुकू कोहली थे, संगीत के लिए नदीम-श्रवण को साइन किया गया था. उन सभी के साथ काम करने का यह पहला दिलीप साहब होता. शूटिंग शुरू हो चुकी थी, गाने भी रिकॉर्ड हो गए होंगे.दिलीप कुमार 1995 की फिल्म आग का दरिया में एक नौसेना अधिकारी की भूमिका निभा रहे थे. निर्देशक एसवी राजेंद्र सिंह बाबू भी रेखा, राजीव कपूर और पद्मिनी कोल्हापुरे को फीचर करने के लिए थे. हालांकि फिल्म पूरी नहीं हो पाई.
Posted By: Shaurya Punj